देहरादून:उत्तराखंड में साल 2013 की आपदा के बाद जून और जुलाई महीना सबसे बदनाम हो गया है. एक बार फिर से जून महीना जाते जाते लोगों को डरा रहा रहा है. मौसम विभाग ने अगले 5 दिनों तक उत्तराखंड में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है. मौसम विभाग ने साफ कहा है कि उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में या मैदानी इलाके आने वालों को तेज बारिश परेशान कर सकती है. ऐसे में उत्तराखंड आने वाले पर्यटकों के साथ-साथ स्थानीय लोगों को भी सावधानी बरतनी होगी.
हमेशा डराता है जून और जुलाई:उत्तराखंड में 29 जून को मॉनसून दस्तक दे रहा है. ऐसे में मॉनसून से पहले भी मौसम विभाग ने भारी बारिश की चेतावनी दी है. उत्तराखंड के पहाड़ों के हिसाब से अत्यधिक बारिश ना केवल पहाड़ों में भूस्खलन को बढ़ावा देती है, बल्कि पर्यटकों का रास्ता भी रोकती है. ऐसे में मौसम वैज्ञानिक और राज्य सरकार लोगों से अपील कर रहे हैं कि ऐसे क्षेत्रों में ना जाएं, जहां पर पहाड़ गिरने का खतरा हो.
उत्तराखंड में 5 दिनों तक भारी बारिश का अलर्ट. उत्तराखंड में चारधाम यात्रा अपने पूरे चरम पर है. ऐसे में अगर भारी बारिश होती है, तो चारधाम यात्रियों को हर साल की तरह रोका भी जाएगा. मौसम विभाग ने कहा है कि अगर तेज बारिश होगी तो स्वभाविक है कि नदियों का जल स्तर भी बढ़ेगा. ऐसे में नदी किनारे रहने वाले लोगों को भी अभी से वहां से हटने की जरूरत है. प्रदेश में उत्तराखंड में शनिवार देर रात से कई इलाकों में भारी बारिश हो रही है, जिसमें चमोली और रुद्रप्रयाग के ऊपरी हिस्सों के साथ-साथ कुमाऊं के कई हिस्से शामिल हैं.
SDRF और चॉपर तैनात:मौसम विभाग की मानें तो उत्तराखंड में पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होने से मौसम में अचानक परिवर्तन आया है. बीते लंबे समय से अत्यधिक हो रही गर्मी भी अधिक बारिश का संकेत मानी जाती है. ऐसे में उम्मीद यही जताई जा रही है कि इस बार का मॉनसून अधिक रहने वाला है. मॉनसून को देखते हुए उत्तराखंड सरकार ने अपनी तैयारियां पूरी कर ली हैं. राज्य सरकार ने गढ़वाल और कुमाऊं में एक-एक चॉपर को तैनात किया है, ताकि इमरजेंसी के वक्त लोगों को राहत दी जा सके. इसके साथ ही एसडीआरएफ के जवानों की टुकड़ी भी रुद्रप्रयाग, चमोली, अल्मोड़ा, बागेश्वर, टिहरी और पौड़ी के लिए भेजी गई हैं.
यात्रियों के लिए किए जा रहे इंतजाम:चारधाम यात्रा में अभी तक 24 लाख से ज्यादा यात्री चारों धामों के दर्शन कर चुके हैं. ऐसे में राज्य सरकार और आपदा प्रबंधन विभाग सबसे अधिक रुद्रप्रयाग और चमोली के रास्ते पर अपनी नजर बनाए हुए है. रविवार को भूस्खलन की वजह से चमोली में 7 घंटे से अधिक समय तक मार्ग बंद रहा. ऐसे में राज्य सरकार और आपदा प्रबंधन विभाग भी तैयारी कर रहा है. ताकि अगर ऐसी परिस्थितियों में सड़कें बंद होती हैं, तो सड़कों पर इंतजार कर रहे यात्रियों को किस तरह से खाद्य सामग्री और राहत सामग्री पहुंचाई जाएगी. इसके लिए सीएम दफ्तर से तमाम जिलाधिकारियों को व्यवस्था बनाने के लिए कहा गया है.
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अगर आप उत्तराखंड आने का प्लान बना रहे हैं तो सभी जानकारी पहले जरूर लें. अगर आप जुलाई महीने की शुरुआत तक उत्तराखंड आने का प्रोग्राम बना रहे हैं, तो बेहद सावधानी के साथ तमाम जरूरी सामान और मौसम की जानकारी लेकर ही आगे बढ़ें.