देहरादून:कोरोना महामारी के बीच एक जुलाई से चारधाम यात्रा की शुरुआत हो गई है. इस यात्रा की शुरुआत कई शर्तों के साथ हुई है. अभी केवल उत्तराखंड के लोग ही यात्रा पर जा रहे हैं. हालांकि पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत चारधाम यात्रा और साहसिक पर्यटन शुरू करने की पैरवी करते आए थे. लेकिन उनका कहना है कि भाजपा सरकार कभी भी दूसरों की सलाह सुनती नहीं है. ऐसे में उन्होंने यात्रा को लेकर बहुत सारी बातें कांग्रेस के लिए नहीं बल्कि राज्य के लिए कहीं थी. उन्होंने कहा कि चारधाम यात्रा पर कुछ सुझाव हरीश रावत के मुंह से दिए गए हैं इसलिए सरकार उनके सुझावों को नहीं मान रही है.
हरीश रावत रावत ने मारा ताना- भाजपा सरकार दूसरों की सलाह नहीं सुनती
चारधाम यात्रा की शुरुआत के बहाने पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने बीजेपी सरकार पर ताना मारा है. हरदा ने कहा कि भाजपा सरकार दूसरों की सलाह सुनना नहीं चाहती है.
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पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि भाजपा सरकार दूसरों की सलाह सुनना नहीं चाहती है. उन्होंने आजकल बहुत सारी बातें कांग्रेस के लिए नहीं बल्कि राज्य के लिए कही हैं. सरकार ने आंशिक रूप से भले ही चारधाम यात्रा शुरू कर दी है, लेकिन यात्रा के कई फंडामेंटल भी हैं. उन पर भी सरकार को ध्यान देना चाहिए. उन्होंने कहा कि अगर सरकार सात बिंदुओं पर अमल कर ले तो राज्य की करीब 40-45 प्रतिशत यात्रा अगले अक्टूबर तक रिकवर हो जाएगी. अगले वर्ष के मार्च-अप्रैल आते-आते अगर कोरोना संकट रहता भी है तो उसके बावजूद यात्रा 75-80 प्रतिशत रिकवर हो जाएगी.