उत्तराखंड

uttarakhand

ETV Bharat / state

डेंगू जैसे संवेदनशील मुद्दे पर हो रही है राजनीति, मरीजों की संख्या 1000 के पार

डेंगू के बढ़ते प्रकोप से स्वास्थ्य विभाग में भी हड़कंप मचा हुआ है. विभागीय अधिकारी इस बात को लेकर पसोपेश में हैं कि बीमारी की रोकथाम व बचाव के लिए तमाम तैयारियां करने के बाद भी डेंगू का प्रभाव कम क्यों नहीं हो रहा है.

डेंगू पर राजनीति

By

Published : Sep 5, 2019, 8:42 PM IST

Updated : Sep 5, 2019, 10:05 PM IST

देहरादून:उत्तराखंड में डेंगू का डंक लगातार बढ़ता जा रहा है. डेंगू की रोकथाम को लेकर स्वास्थ्य विभाग की ओर किए गए सभी दावे हवा हवाई साबित हो रहे हैं. प्रदेश में अभीतक डेंगू के 1000 मामले सामने आ चुके हैं, जो चिंता का विषय हैं. वहीं दूसरी तरफ इस पर राजनीति भी शुरू हो गई है. कांग्रेस को घर बैठे सरकार को घेरने का मौका भी मिल गया है.

उत्तराखंड में जिस तरह डेंगू के मरीजों की संख्या सामने आ रही है, उसने स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मचा दिया है. अकेले देहरादून में डेंगू के कारण 6 लोगों की मौत हो चुकी है. इन हालात में स्वास्थ्य विभाग की कार्यशैली पर सवाल उठना लाजमी है.

डेंगू पर हो रही है राजनीति.

पढ़ें- पॉलीथिन के खिलाफ निगम चलायेगा ये मुहिम, मेयर ने की लोगों से की सहयोग की अपील

सूबे के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत भी डेंगू को लेकर गंभीर नजर आ रहे हैं. सीएम त्रिवेंद्र ने दावा किया है कि पहले के मुकाबले डेंगू के मरीजों की संख्या में कमी आई है. जिस तरह मौसम में बदलाव हो रहा है उससे डेंगू के मरीजों की संख्या में बढ़ोत्तरी हो सकती है. हालांकि, इसके लिए फोगिंग कराई जा रही है, लेकिन ज्यादा फोगिंग से भी नुकसान होता है. सरकारी अस्पतालों में डेंगू के मरीजों को पर्याप्त सुविधा दी जा रही है. सभी अस्पतालों में दवाइयों और प्लेटलेट्स आदि मौजूद हैं.

पढ़ें- डॉक्टर साहब तनख्वाह ले रहे सरकार की, सेवा दे रहे प्राइवेट अस्पताल में

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के दावों पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व सीएम हरीश रावत ने सवाल खड़े किए हैं. हरीश रावत के मुताबिक उनके शासनकाल में डेंगू से लड़ने के लिए 2 तरह से काम किए गए थे. सबसे पहले तो सफाई कराई गयी थी और दूसरा मरीजों को बकरी का दूध उपलब्ध करवाया गया था. इसके साथ ही यह भी पहल की गई थी कि अगर कोई अपने घर में पपीते का पेड़ लगाएगा तो उसे 300 रुपये सरकार देगी, लेकिन त्रिवेंद्र सरकार कुछ काम नहीं कर रही है. राज्य सरकार ने उन दोनों योजनाओं को गढ्ढे में डाल दिया. त्रिवेंद्र सरकार स्वच्छ भारत की बात तो कह रही है लेकिन देहरादून को अस्वच्छ मान रही है. जिस देहरादून में डेंगू कभी पहचाना नहीं जाता था, आज राज्य सरकार ने डेंगू को घर-घर तक पहुंचा दिया है.

जिलेवार डेंगू के मरीजों की संख्याी

  • उत्तराखंड में डेंगू पीड़ित मरीजों का आंकड़ा बढ़कर 1007 पहुंच गया है.
  • देहरादून में डेंगू के मरीजों का आंकड़ा 678 तक पहुंच गया है.
  • हरिद्वार में 39 मरीजों में डेंगू की पुष्टि हुई है.
  • पौड़ी में अभीतक डेंगू का एक मरीज सामने आया है.
  • टिहरी में 7 लोगों में डेंगू की पुष्टि हुई है.
  • नैनीताल में डेंगू के मरीजों का आंकड़ा 277 तक पहुंच चुका है.
  • उधम सिंह नगर में भी डेंगू के पांच मरीज सामने आए हैं.
Last Updated : Sep 5, 2019, 10:05 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details