देहरादून: क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड को अगस्त 2019 में बीसीसीआई से मान्यता मिलने के बाद रविवार को पहली वार्षिक जनरल मीटिंग की गई. जिसमें साल 2019-2020 के ऑडिट रिपोर्ट, एपॉइंटमेंट ऑडिट, रिजर्व रिपोर्ट, सेक्रेटरी रिपोर्ट के साथ ही तमाम बिंदुओं पर चर्चा किया गया. इसके अतिरिक्त गोल्ड कप प्रतियोगिता के लिए 20 लाख की जगह 25 लाख रुपए देने पर प्रस्ताव बना है. यही नहीं, ट्रेजरार पर उठाए गए सवाल के बाद एजीएम में 3 मेंबर की कमेटी बना दी गई है, जो अब इस मामले की जांच करेगी.
रविवार को पहली बार आयोजित हुई क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड की मीटिंग शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न हुई. क्योंकि इस मीटिंग में हंगामें की उम्मीद जताई जा रही थी. इतना ही नहीं पहले से ही एसोसिएशन के कुछ पदाधिकारियों ने मीटिंग में शामिल होने से बहिष्कार की बात कही थी, वे अध्यक्ष और सचिव से नाखुश बताए जा रहे थे.
आपको बता दें कि पिछले साल वैश्विक महामारी कोरोना संक्रमण के चलते एनुअल जनरल मीटिंग नहीं हो पाई थी लेकिन मुख्य रूप से 30 सितंबर से पहले हर साल एनुअल जनरल मीटिंग करना अनिवार्य होता है.
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वहीं, इस बारे में ज्यादा जानकारी देते हुए सीएयू के सचिव महिम वर्मा ने बताया कि आम सभा में तमाम प्रस्ताव पर मुहर लगने के साथ ही ट्रेजरार पर जो तमाम तरह के सवाल उठाए गए थे. उसे देखते हुए कमेटी का गठन किया गया है. हालांकि, जब तक जांच पूरी नहीं हो जाती है ,तब तक ट्रेजरार की जिम्मेदारी किसी और को सौंपी गई है. इसके साथ ही डिस्ट्रिक्ट और डोमेस्टिक क्रिकेट स्कोर और मजबूत बनाने को लेकर चर्चा की गई, जिसमें डिस्ट्रिक्ट क्रिकेट एसोसिएशनों को फाइनेंस किया जाएगा, ताकि आगामी तो 3 सालों के भीतर डिस्ट्रिक्ट क्रिकेट एसोसिएशन अपने आपको मजबूत कर सके.
वर्मा ने बताया कि ट्रेजरार की जांच के लिए जो कमेटी बनाई गई है उसमें वीरेंद्र धीमान, राजेश और नीनू सहगल को शामिल किया गया है. जिन बिंदुओं पर जांच होनी है, उन बिंदुओं को तय कर लिया गया है. इसकी रिपोर्ट लगभग 30 दिनों के भीतर सौंप दी जाएगी. साथ ही ट्रेजरार को लेकर तमाम तरह के मामले सामने आए थे, जिसमें तय समय पर पेमेंट नहीं हो पा रही थी. इसके अतिरिक्त तमाम अन्य मामले भी शामिल है. लिहाजा, मामले की गंभीरता को देखते हुए कमेटी का गठन किया गया है.