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Published : Jan 25, 2020, 11:42 PM IST

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नाबालिग से दुष्कर्म का मामला: चचेरे भाई को 20 साल की सजा, 30 हजार का लगा जुर्माना

मामला मार्च 2018 का है. कोर्ट ने चचेरे भाई को नाबालिग से दुष्कर्म का दोषी मानते हुए 20 साल की सजा सुनाई है.

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देहरादून:राजधानी देहरादून की फास्ट ट्रैक कोर्ट ने शनिवार को एक बड़ा फैसला सुनाया है. कोर्ट ने दस साल की नाबालिग बच्ची के साथ बालात्कार करने के मामले में उसके चचेरे भाई को 20 साल की सजा सुनाई है. इसके अलावा दोषी पर 30 हज़ार का आर्थिक दंड भी लगाया है. जुर्माने की राशि अदा न करने पर दोषी को एक साल की अतिरिक्त सजा भुगतने का अदालत ने आदेश दिया है. वहीं कोर्ट ने सबूतों के अभाव में पीड़िता के ताऊ यानी दोषी के पिता को बरी कर दिया है.

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इस मामले में एडीजे फास्ट ट्रैक कोर्ट के शासकीय अधिवक्ता अरविंद कपिल ने बताया कि पीड़िता के ताऊ को दोषमुक्त किया गया है, जबकि पीड़िता के चचेरे भाई पर दुष्कर्म का दोष साबित हुआ है. साल 2018 से चले इस कानूनी प्रक्रिया में दोषी के खिलाफ सभी तरह के पर्याप्त सबूत, एफएसएल व मेडिकल रिपोर्ट सही पाई है. कोर्ट ने धारा 376 भारतीय दंड संहिता 1807 व धारा 6 लैंगिक अपराध अधिनियम 2012 के अंतर्गत दोषी को 20 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है.

क्या था मामला
ये मामला डालनवाला क्षेत्र का है. जानकारी के मुताबिक 2018 में होली के दिन दस साल की नाबालिग अपने घर पर अकेली थी. इसी बीच होली खेलने के बहाने पीड़िता का चचेरा भाई घर पहुंचा. दोषी ने पहले पीड़िता के साथ मारपीट की और उसके बाद दुष्कर्म किया. वारदात को बाद दोषी और उसके पिता ने किसी को कुछ बताने पर पीड़िता को जान से मारने की धमकी भी दी थी.

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शाम को पीड़िता की मां घर पहुंची तो देखा कि वे बेहोशी की हालत में पड़ी हुई है. मां ने पीड़िता को अस्पताल में भर्ती कराया, जहां मां को सच्चाई का पता चला. मां ने दोषियों के खिलाफ पुलिस को तहरीर दी. इसके बाद पुलिस ने दोनों को गिरफ्तार किया, तभी से कोर्ट में मामला चल रहा है.

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