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कांग्रेस प्रवक्ता अभय दुबे का बीजेपी पर हमला, पूछा- सरकार का आतंकवाद से यह रिश्ता क्या कहलाता है?

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Published : Jul 9, 2022, 5:26 PM IST

देहरादून पहुंचे कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता अभय दुबे ने केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा. उन्होंने सरकार से आतंकवादियों के रिश्ते होने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा आजाद भारत में पहली बार किसी राजनीतिक दल पर आतंकी गतिविधियों में शामिल लोगों को पार्टी की सदस्यता और चुनावी टिकट देने के गंभीर आरोप लगे हैं.

Abhay Dubey attacks modi government in dehradun
कांग्रेस प्रवक्ता अभय दुबे का भाजपा पर हमला

देहरादून:कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता अभय दुबे आज देहरादून पहुंचे. जहां उन्होंने पार्टी मुख्यालय में केंद्र सरकार पर जमकर हमला किया. उन्होंने आरोप लगाया कि उनका नारा है 'आतंकवाद का साथ और सत्ता का विकास'. ऐसे में आज जब देश में आतंकवाद पसरा हुआ है तो कुछ प्रासंगिक प्रश्न भी सामने हैं. आजाद भारत के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है कि किसी राजनीतिक दल पर आतंकी गतिविधि में शामिल लोगों को अपने दल की सदस्यता और चुनावी टिकट देने के गंभीर आरोप लग रहे हैं.

उन्होंने भाजपा सरकार पर आतंकवादियों तथा अपराधियों को प्रश्रय देने का आरोप लगाया. उन्होंने कहा इसको लेकर कुछ प्रासंगिक सवालों के जवाब भाजपा से पूछे जाने चाहिए. क्या राष्ट्रवाद की आड़ में देश के साथ कोई घिनौना खेल खेला जा रहा है. उन्होंने सवाल पूछा कि उदयपुर में कन्हैया लाल की हत्या का आरोपी मोहम्मद रियाज अटारी क्या बीजेपी का कार्यकर्ता है?

कांग्रेस प्रवक्ता अभय दुबे का बीजेपी पर हमला.

उन्होंने महाराष्ट्र के अमरावती में केमिस्ट उमेश कोल्हे की हत्या का मसला भी उठाया. उन्होंने कहा महाराष्ट्र के अमरावती में उमेश की इसी प्रकार हत्या कर दी गई थी, इस हत्या में शामिल कथित मास्टरमाइंड इरफान खान राणा दंपति के चुनावी अभियान में शामिल हो चुका है और राणा दंपति का भाजपा से क्या रिश्ता है, यह किसी से छिपा नहीं है. ऐसे में क्या यह सही है कि इरफान खान राणा दंपति के लिए प्रचार करता था और वोट मांगता था. भाजपा को इस बात का जवाब देना चाहिए कि यह रिश्ता क्या कहलाता है?

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अभय दुबे यहीं नहीं रुके उन्होंने कहा कि वर्ष 2020 में जम्मू कश्मीर में आतंकियों को हथियार मुहैया कराने के आरोप में भाजपा के पूर्व नेता और सरपंच तारिक अहमद मीर को गिरफ्तार किया गया था. तारिक अहमद पर हिजबुल कमांडर नावेद बाबू को हथियार देने का आरोप था, जो आतंकवादियों को मदद करने वाले डीएसपी देवेंद्र सिंह के साथ गिरफ्तार हुआ था. ऐसे में यदि देवेंद्र सिंह के मामले के ढंग से जांच होती तो सच्चाई का पता चलता, लेकिन जांच बीच में ही रोक दी गई.

अभय दुबे ने आरोप लगाया कि कुछ दिनों पूर्व भाजपा के आईटी सेल का कार्यकर्ता गिरफ्तार हुआ. उस राज्य के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के साथ उसकी तस्वीरें भी सामने आई थी. ऐसे में सरकार को बताना चाहिए कि 2017 में मध्यप्रदेश में एटीएस की टीम ने अवैध टेलीफोन एक्सचेंज का पर्दाफाश करते हुए आईएसआई के 11 संदिग्धों को गिरफ्तार किया था, क्या इसमें भाजपा आईटी सेल का कार्यकर्ता शामिल नहीं था ? सरकार देश में वैमनस्य का वातावरण फैला रही है, और सांप्रदायिक ध्रुवीकरण की बात कर रही है. इसलिए सरकार को बताना चाहिए कि आतंकवाद के साथ उनका यह रिश्ता क्या कहलाता है.

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