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ग्रीन बोनस ना मिलने पर CM त्रिवेंद्र का बयान, बोले- नीति आयोग से है उम्मीद

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Published : Jul 5, 2019, 4:47 PM IST

Updated : Jul 5, 2019, 5:45 PM IST

मोदी सरकार की केंद्रीय बजट में उत्तराखंड को ग्रीन बोनस का सौगात नहीं मिल पाया. बजट को लेकर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि नीति आयोग और फाइनेंस कमीशन की रिपोर्ट आने के बाद प्रदेश में ग्रीन बोनस पर कोई कार्रवाई देखने को मिलेगा.

सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत

देहरादूनः केंद्र में प्रचंड बहुमत के साथ बीजेपी की वापसी के बाद केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में सरकार 2.0 का पहला बजट पेश किया. इन दौरान देशभर के साथ उत्तराखंड वासियों की निगाहें बजट भाषण पर रही, लेकिन पूरे भाषण में ग्रीन बोनस का जिक्र ही नहीं हुआ. जिससे ढ़ेरों उम्मीदें लगाए बैठे प्रदेशवासियों के सारे सपने चूर-चूर हो गए. वहीं, बजट आने के बाद सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि नीति आयोग और फाइनेंस कमीशन की रिपोर्ट आनी बाकी है. जल्द ही मामले पर कोई कार्रवाई देखने को मिलेगा.

केंद्रीय बजट पेश होने के बाद ग्रीन बोनस को लेकर बयान देते सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत.

मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का पहला बजट शुक्रवार को पेश हुआ. इस दौरान केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण बजट पेश किया. उधर, मोदी सरकार की दूसरी पारी के पहले बजट को लेकर उत्तराखंड की जनता टकटकी लगाए बैठे थी. ये उत्सुकता इसलिए भी जायज थी, क्योंकि बीजेपी ने अपने घोषणा पत्र में हिमालयों राज्यों को ग्रीन बोनस देने की बात की थी, लेकिन इस बार भी ग्रीन बोनस को लेकर हिमालयी राज्यों के हाथ मायूसी ही लगी.

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वहीं, केंद्रीय बजट में ग्रीन बोनस का प्रावधान ना होने पर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि ये नई सरकार का पहला बजट है. अभी फाइनेंस कमीशन और नीति आयोग की रिपोर्ट आनी बाकी है. जिस पर काम चल रहा है. साथ ही कहा कि संकल्प पत्र के अनुसार सरकार ग्रीन बोनस को लेकर गंभीर है. जल्द ही मामले पर कुछ डेवलपमेंट देखने को मिलेगा.

केंद्रीय बजट पर सीएम त्रिवेंद्र रावत ने दी ये प्रतिक्रिया-

  • केंद्रीय बजट पर वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण को बधाई दी.
  • पेश किया गया बजट संतुलित और समावेशी बजट है.
  • बजट में छोटे से लेकर बड़े हर तबके के ख्याल रखा गया.
  • स्वयं सहायता, महिला समूह, सहित छोटे व्यापारी को राहत देने का काम किया गया है.
  • 5 मिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था के लक्ष्य की परिकल्पना के साथ बजट का खाका खींचा गया है.
  • केंद्र सरकार की ओर से जल संकट से निपटने के लिए हर घर एक नल देने की बात कही गई.
  • जल शक्ति मंत्रालय का गठन किया गया है.
  • अगले 5 सालों में बुनियादी सुविधाओं पर 100 लाख करोड़ खर्च करने के उद्देश्य इस बजट में दिखता है.
  • राजकोषीय घाटे को कम करने का प्रयास भी किया गया.
  • इस बजट में देश में 17 आइकॉनिक टूरिस्ट डेस्टिनेशन का लक्ष्य रखा गया है.
  • यह देश में विदेशी मुद्रा को लेकर एक बड़ी योजना है.

वहीं, मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि देश में आइकॉनिक टूरिस्ट डेस्टिनेशन की ठीक उसी तरह विकसित किया जाएगा. जिस तरह से पहले स्मार्ट सिटी और बुलेट ट्रेन का काम शुरू किया गया है.

Last Updated : Jul 5, 2019, 5:45 PM IST

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