देहरादून: तपोवन सुरंग में फंसे हुए लोगों को निकालने के लिए जहां पिछले चार दिनों से दिन-रात रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है. वहीं मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत खुद मौजूदा हालात पर नजर बनाए हुए है. मुख्यमंत्री खुद रेस्क्यू ऑपरेशन की मॉनिटिरिंग कर रहे हैं. इसके साथ मुख्यमंत्री ने मृतकों के परिजनों को अविलंब राहत राशि देने के निर्देश दिए हैं.
बुधवार को मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सचिव आपदा प्रबंधन से आपदा राहत कार्यों और सर्च व रेस्क्यू आपरेशन के बारे में जानकारी प्राप्त की. मुख्यमंत्री ने सर्च एवं रेस्क्यू के काम को लगातार जारी रखने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि आपदा प्रभावित क्षेत्रों में दैनिक आवश्यकता की वस्तुओं की कमी न हो. जिन मृतकों की पहचान हो जाए, उनके आश्रितों को राहत राशि अविलंब उपलब्ध कराई जाए. जिन शवों की शिनाख्त न हो पा रही हो, उनके डीएनए रिकॉर्ड सुरक्षित रखे जाएं.
पढ़ें-चमोली आपदा का दर्द जौनसार बाबर के पंजिया गांव में भी छलका, दो सगे भाई सहित चार लोग लापता
मुख्यमंत्री ने तपोवन आपदा में मारे गए हेड कॉन्स्टेबल मनोज चौधरी और कॉन्टेबल बलवीर सिंह गड़िया को श्रद्धांजलि दी. आपदा में मारे गए सभी लोगों के प्रति संवदेना प्रकट करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि लापता लोगों की तलाश के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन पूरी क्षमता के साथ चलाया जा रहा है. सर्च एंड रेस्क्यू के साथ ही आपदा राहत कार्यों की उच्च स्तर से लगतार मॉनिटरिंग की जा रही है.
राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र से प्राप्त जानकारी के अनुसार घटना के बाद 34 शव मिल गए हैं, जबकि 170 लोग अभी लापता हैं. पूर्व में लापता बताए गए ऋषि गंगा कंपनी के 2 व्यक्ति सुरक्षित अपने आवास पर पाए गए हैं. तपोवन टनल में फंसे लोगों का रेस्क्यू जारी है. यहां पर करीब 25 से 35 लोग टनल मे फंसे हैं, जिनको बचाने का हर संभव प्रयास किया जा रहा है.