देहरादून: फॉरेस्ट गार्ड भर्ती जांच पर जल्द ही फैसला आ सकता है. मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने संकेत दिए हैं कि सरकार के परामर्श के बाद जल्दी आयोग इस विषय पर निर्णायक तौर पर फैसला देगा, जिसके बाद फॉरेस्ट गार्ड भर्ती की परीक्षा दे चुके सैकड़ों परीक्षार्थियों की चिंताएं बढ़ गईं हैं.
छात्रों संगठन के सदस्य धीरज पाल ने ईटीवी भारत के साथ अपनी समस्याएं साझा करते हुए कहा कि तकरीबन 4 साल पहले फॉरेस्ट गार्ड की भर्ती निकली थी. जिसके बाद करीब 3 साल बाद परीक्षा हुई. कुछ गड़बड़ियों के चलते इस पर एसआईटी गठित की गई और 8 महीने बाद एसआईटी की रिपोर्ट भी आ चुकी है और दोषियों को पकड़ा भी जा चुका है. ऐसे में छात्रों का कहना है कि जो लोग इसमें दोषी पाए गए हैं, उनको बाहर का रास्ता दिखाया जाए और अन्य लोगों का निष्पक्ष रिजल्ट जारी कर दिया जाए.