देहरादून:उत्तराखंड सरकार ने चार धाम यात्रा शुरू होने से पहले दावा किया था कि हेली सेवा पारदर्शी होगी. टिकटों को लेकर किसी तरह की काला बाजारी नहीं होगी, लेकिन यात्रा शुरू होने के कुछ दिनों बाद सरकार के ये दावे हवा हवाई साबित हो रहे हैं. ऐसे में चारधाम यात्रा कंट्रोल रूम को श्रद्धालुओं के गुस्से का सामना करना पड़ रहा है.
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चारधाम यात्रा शुरू होने बाद केदारनाथ धाम के लिए उत्तराखंड सरकार ने 9 एविएशन कंपनियों को टेंडर दिया था. इस दौरान सरकार ने कहा था कि टिकटों की काला बाजारी को रोकने के लिए ऑनलाइन टिकट बुकिंग की जाएगी. सभी एविएशन कंपनियों के ऑनलाइन टिकट का जिम्मा गढ़वाल मंडल विकास निगम (जीएमवीएन) को दिया जाना था. लेकिन सिर्फ दो ही क्रिस्टल व हैरिटेज एविएशन की ऑनलाइन बुकिंग जीएमवीएन कर रहा है. बाकी 7 एविएशन कंपनी अपनी मर्जी से टिकटों की बुकिंग कर रही हैं, जिस कारण देश-विदेश से आने वाले सैकड़ों श्रद्धालुओं को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. इसी के साथ सरकार और शासन के दावों की भी पोल खुलती जा रही है.
एविएशन कंपनी की मनमानी से परेशान श्रद्धालु रोज चार धाम यात्रा कंट्रोल रूम में फोन कर अपनी शिकायत दर्ज कर रहे हैं. कंट्रोल रूम में प्रतिदिन 600 से 700 फोन कॉल आ रहे हैं, लेकिन कंट्रोल रूम उनकी कोई मदद नहीं कर पा रहा है.
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कंट्रोल रूम के कर्मचारी राम सिंह राणा की मानें तो वो सभी 9 कंपनियों की जानकारी यात्रियों को दे रहे हैं. लेकिन 2 कंपनियों को छोड़ दें तो बाकी 7 एविएशन कंपनियों की बुकिंग पारदर्शिता तरीके न होने के चलते यात्रियों में गुस्सा है. यात्री लगातार शिकायत कर रहे हैं. बता दें कि केदारनाथ धाम के लिए हेली सर्विस की सबसे ज्यादा बुकिंग मानसुन शुरू होने से पहले 15 जून तक रहती है.