देहरादून:लखनऊ में शुक्रवार से तीन दिवसीय 56वें डीजीपी सम्मेलन का शुभारंभ गृह मंत्री अमित शाह ने किया है. इस सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 20 व 21 नवंबर को शामिल होंगे. पुलिसिंग से जुड़े लगभग 30 बिंदुओं पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चरणबद्ध तरीके से सभी राज्यों के पुलिस महानिदेशक और आईजी इंटेलिजेंस जैसे अधिकारियों के साथ विस्तृत चर्चा करेंगे और आवश्यक दिशा-निर्देश देंगे.
इन बिंदुओं पर चर्चा संभव:डीजीपी कॉन्फ्रेंस में मुख्य तौर पर अंतरराष्ट्रीय सामरिक सुरक्षा सहित सड़क सुरक्षा, मानव तस्करी, साइबर क्राइम, ड्रग तस्करी, स्मार्ट पुलिसिंग, कानून व्यवस्था, महिला व बाल अपराध पर अंकुश जैसे लगभग 30 महत्वपूर्ण बिंदुओं पर चर्चा संभव है. पिछले साल 2020 में कोरोना के कारण इस बैठक का आयोजन नहीं किया गया था.
डीजीपी कॉन्फ्रेंस इस बार उत्तराखंड के परिपेक्ष में बेहद महत्वपूर्ण होने वाली है, क्योंकि इससे पहले साल 2019 में हुई इस कॉन्फ्रेंस में उत्तराखंड से लगते अंतरराष्ट्रीय बॉर्डर (नेपाल तिब्बत और चाइना) क्षेत्रों से पलायन को लेकर प्रधानमंत्री मोदी ने पुलिस विभाग को विकास महोत्सव कार्यक्रम आयोजन की जिम्मेदारी सौंपी थी, ताकि सीमांत इलाकों से पलायन करने वाले लोगों को इस कार्यक्रम के जरिए उनकी मूलभूत सुविधाओं (रोजगार, चिकित्सा, लोक कला संस्कृति और धार्मिक) से जोड़ा जा सके.
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पीएम मोदी के आदेश के बाद इस साल उत्तराखंड पुलिस ने अंतरराष्ट्रीय बॉर्डर पर उत्तरकाशी जनपद के हर्षिल घाटी में विकास महोत्सव का स्थानीय प्रशासन और केंद्रीय सुरक्षाबलों की मदद से संपन्न कराया है. इस विकास महोत्सव में अंतरराष्ट्रीय बॉर्डर रहने वालों की मांगों की एक रिपोर्ट पुलिस मुख्यालय द्वारा गृह मंत्रालय को भेजी जा चुकी है. ऐसे में अब ऑल इंडिया डीजीपी कॉन्फ्रेंस में उत्तराखंड पुलिस अपने विकास महोत्सव की रिपोर्ट भी प्रधानमंत्री मोदी के सामने पेश करेगी.