चमोलीःउत्तराखंड में एक तरफ हर्ष और उल्लास के साथ होली का त्योहार मनाया जा रहा है तो वहीं दूसरी तरफ जोशीमठ में इस बार होली का रंग फीका रहा. जोशीमठ में दरार और भू धंसाव के चलते प्रभावित लोग अपने घरों में होली नहीं मना पाए. जोशीमठ प्रभावितों का कहना था कि पिछले साल तक उनके पास छत और घर था, लेकिन इस बार वो होटलों और शेल्टर में ठहरे हैं. ऐसे में उनकी होली खास नहीं रही. हालांकि, उन्होंने होली भी खेली. उन्होंने कहा कि कितनी भी मुसीबत आए, लेकिन वो अपनी रीति रिवाज और परंपरा को जारी रखे हुए हैं.
Joshimath Holi: जोशीमठ में फीकी रही होली, प्रभावितों ने मार्मिक गीत गाकर बयां किया दर्द - latest news of Uttarakhand
आज अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस और होली का त्योहार है. एक ओर धूमधाम से होली मनाई जा रही है. साथ ही महिलाओं का सम्मान किया जा रहा तो दूसरी ओर जोशीमठ में महिलाएं धरने पर बैठी रही. इस दौरान महिलाओं ने मार्मिक गीत गाकर अपना दर्द बयां किया.
वहीं, आपदा प्रभावित महिलाएं आज भी जोशीमठ बचाओ संघर्ष समिति के बैनर तले आंदोलन पर डटी रहीं. संघर्ष समिति के आंदोलन का आज 63वें दिन था. आंदोलनरत महिलाओं ने धरना स्थल पर होली के साथ अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस मनाया. इस दौरान महिलाओं ने आपदा से संबंधित मार्मिक गीत भी गाए. उनका कहना था कि जब तक उनकी मांगें नहीं मानी जाती, तब तक वो दृढ़ हिमालय की तरह डटे रहेंगे. उन्होंने कहा कि इस बार आपदा के चलते उनकी होली फीकी ही रही. उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि कभी वो अपनी होली तरह से मनाएंगे. महिलाएं मुआवजे राशि और पुनर्वास विकल्प को लेकर आंदोलन पर हैं.
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गौर हो कि जोशीमठ में लगातार दरार चौड़ी होती जा रही है. जिससे जोशीमठ के निवासी डर के साये में हैं. जनपद आपदा प्रबंधन प्राधिकरण चमोली के मुताबिक, अभी तक 868 में भवनों में दरारें आ चुकी है. जबकि, 181 भवन असुरक्षित जोन में हैं. इसके अलावा प्रभावित परिवारों को पुनर्वास पैकेज के तहत धनराशि भी दी जा रही है. वहीं, जोशीमठ में भू धंंसाव प्रभावित परिवारों के पुनर्वास कार्यों पर तेजी से काम किया जा रहा है. उनके लिए अस्थायी प्री फैब्रिकेटेड हट बनाए जा रहे हैं. चमोली डीएम हिमांशु खुराना ने संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया है कि जो भवन तैयार हो गए हैं, उनमें जल्द प्रभावितों को शिफ्ट किया जाए.