चमोलीःगोविंदघाट और हेमकुंड साहिब में मौसम साफ हो गया है. जिसे देखते हुए प्रशासन ने हेमकुंड साहिब की यात्रा श्रद्धालुओं के लिए खोल दी है. बीते रोज घांघरिया मुख्य बाजार के ठीक सामने पहाड़ टूटा था. हालांकि, इसमें किसी तरह का कोई नुकसान नहीं हुआ, लेकिन एहतियातन यात्रा रोक दी गई थी.
मौसम के मिजाज को परखने के लिए सुबह चार बजे से यात्रियों को गोविंदघाट और घांघरिया में रोका गया था, लेकिन सवेरा होने पर मौसम साफ नजर आया. हेमकुंड साहिब गुरुद्वारा प्रबंधन ने प्रशासन से अनुमति लेकर यात्रा शुरू करवा दी है. बता दें कि उपजिलाधिकारी जोशीमठ की ओर से तेज बारिश के पूर्वानुमान को देखते हुए हेमकुंड साहिब की यात्रा रोकने का निर्णय लिया गया था.
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वहीं, गोविंदघाट गुरुद्वारे के वरिष्ठ प्रबंधक सरदार सेवा सिंह ने बताया कि आज सुबह यात्रा शुरू होते ही हेमकुंड साहिब धाम के लिए गोविंदघाट से 535 तीर्थयात्री घांघरिया के लिए रवाना हुए हैं. जबकि, घांघरिया से 450 तीर्थयात्री हेमकुंड साहिब के लिए रवाना हुए हैं. उन्होंने बताया कि हेमकुंड साहिब मार्ग सुचारू हैं. बता दें कि बीती 22 मई को हेमकुंड साहिब के कपाट खुले थे. इससे पहले भी जब बर्फबारी हुई थी. तब यात्रा रोकी गई थी. अब बारिश के दौरान यात्रा रोकनी पड़ रही है.
गौर हो कि हेमकुंड साहिब में सिखों के दसवें और अंतिम गुरु, गुरु गोविंद सिंह ने तपस्या की थी. हेमकुंड साहिब विश्वभर में सबसे ऊंचाई पर स्थित गुरुद्वारा है, जो समुद्र तल से 15,225 फीट की ऊंचाई पर स्थित है. इस पावन स्थल के पास हिंदू धर्म का भी एक प्रमुख मंदिर है, जो हेमकुंड साहिब की बर्फिली वादियों व हेमकुंड झील के तट पर बसा लक्ष्मण मंदिर है, जो लोकपाल मंदिर के नाम से भी जाना जाता है.