उत्तराखंड

uttarakhand

ETV Bharat / city

फ्लाइट से उत्तराखंड आ रहे प्रवासियों को नहीं किया जाएगा पेड क्वारंटाइन, नैनीताल हाईकोर्ट का आदेश

नैनीताल हाईकोर्ट ने अब हवाई मार्ग से आ रहे प्रवासियों को होटलों में पेड क्वारंटाइन करने पर रोक लगा दी है. केंद्र और राज्य सरकार को आदेश दिए हैं कि वह बगैर किसी यात्री की सहमति के पेड क्वारंटाइन सेंटर नहीं भेज सकते हैं.

By

Published : Jun 9, 2020, 8:13 PM IST

Updated : Jun 9, 2020, 9:09 PM IST

nainital news
जबरन क्वारंटाइन करने पर नैनीताल हाईकोर्ट का सख्त आदेश.

नैनीताल: हवाई मार्ग से अन्य प्रांतों से उत्तराखंड लौट रहे प्रवासियों को अब जबरन पेड क्वारंटाइन करने पर रोक लगा दी गई है. इस मामले पर नैनीताल हाईकोर्ट ने कड़ा रुख अपनाते हुए केंद्र सरकार, राज्य सरकार, सचिव नागरिक उड्डयन समेत प्रदेश के मुख्य सचिव को आदेश दिए हैं कि वह बगैर किसी यात्री की सहमति के पेड क्वारंटाइन सेंटर नहीं भेज सकते हैं.

बता दें कि देहरादून निवासी उमेश शर्मा ने नैनीताल हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर कर कहा था कि उत्तराखंड के दोनों हवाई अड्डों देहरादून और पंतनगर में यात्रियों को राज्य सरकार के द्वारा जबरदस्ती पेड क्वारंटाइन सेंटर्स में भेजा जा रहा है. साथ ही जिन होटलों को राज्य सरकार ने क्वारंटाइन सेंटर के रूप में चिह्नित किया है वहां पर यात्रियों से आने जाने समेत खाने का पैसा भी जबरन लिया जा रहा है. याचिकाकर्ता का कहना है कि हवाई मार्ग से आ रहे यात्रियों के साथ सरकार का ये भेदभाव का रवैया सही नहीं है, क्योंकि जो यात्री रेल और सड़क मार्ग से आ रहे हैं उनको निशुल्क क्वारंटाइन किया जा रहा है.

जबरन क्वारंटाइन करने पर नैनीताल हाईकोर्ट का सख्त आदेश.

यह भी पढ़ें:लॉकडाउन में डिजिटल पेमेंट का क्रेज, 53% लोगों ने ऑनलाइन जमा किया बिल

वहीं याचिकाकर्ता का कहना है कि लोग लॉकडाउन के चलते उत्तराखंड से बाहर अन्य प्रांतों में फंसे हुए हैं. वहीं विरोध जताते हुए कहा कि ऐसे में मजबूरन हवाई मार्ग से लोगों को अपने घर वापस लौटना पड़ रहा है, लेकिन सरकार द्वारा वापस लौट रहे लोगों का उत्पीड़न किया जा रहा है. आज मामले की सुनवाई करते हुए नैनीताल हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ ने केंद्र और राज्य सरकार समेत सचिव नागरिक उड्डयन को निर्देश दिए गए हैं कि वो किसी भी परिस्थिति में यात्री की अनुमति के बिना उन्हें पेड क्वारंटाइन सेंटर ना भेजें.

Last Updated : Jun 9, 2020, 9:09 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details