देहरादून:उत्तराखंड में आने वाला जुलाई का महीना नौकरशाही के लिहाज से काफी अहम माना जा सकता है. 28 जुलाई 2020 को वर्तमान मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह के 60 साल पूरे हो रहे हैं, इसी के साथ वे सेवानिवृत्त भी हो जाएंगे. मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह के बाद नौकरशाही में कौन नंबर एक की कुर्सी पर बैठेगा इस पर अभी से कयास लगने शुरू हो गये हैं. इस पूरे मामले में सबकी टकटकी मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत की ओर है कि आखिर वे किसे राज्य का अगला मुख्य सचिव बनाते हैं. आइये आंकड़ों, परिस्थितियों पर नजर डालते हुए देखते हैं कि मुख्य सचिव की दौड़ में कौन सबसे आगे है?
कौन सबसे वरिष्ठ ?
दरअसल, नौकरशाही में अक्सर किसी ऐसे आईएएस अधिकारी को ही मुख्य सचिव की कुर्सी सौंपी जाती है जो कॉर्डर और वरिष्ठता में आगे हो. हालांकि मुख्यमंत्री अपने विवेक से भी इस मामले में फैसला ले सकते हैं. ऐसे में अगर उत्तराखंड की बात करें तो वरिष्ठता को देखते हुए अनूप वधावन को मुख्य सचिव के रूप में नियुक्ति दी जा सकती है. अनूप वाधवान 1985 बैच के आईएएस अफसर हैं. वे इस समय केंद्र सरकार में वाणिज्य मंत्रालय में सचिव का पद संभाल रहे हैं.
क्या अनूप वधावन उत्तराखंड आएंगे ?
1985 बैच के आईएएस अनूप वधावन मुख्य सचिव की रेस में सबसे वरिष्ठ हैं. इस मामले में सबसे दिलचस्प बात यह है कि अनूप वधावन मौजूदा मुख्य सचिव उत्पल कुमार से भी वरिष्ठ हैं. वे उम्र में तकरीबन उनसे 11 महीने छोटे हैं, जिसके कारण वह अभी भी सेवारत हैं. आईएएस ऑफिसर में एक चलन रहा है कि जूनियर बैच का अधिकारी जिस कुर्सी पर बैठ जाए तो सीनियर उस कुर्सी से परहेज करते हैं, लिहाजा वाधवन इस पद को स्वीकार करेंगे, इसकी गुंजाइश ना के बराबर है. इसके बाद जो समीकरण सामने आते हैं उससे राज्य के नये मुख्य सचिव के तौर पर ओम प्रकाश को भी देखा जा सकता है.
अनूप वधावन नहीं तो क्या ओम प्रकाश ?
समीकरणों के हिसाब से अगर अनूप वधावन मुख्य सचिव के दावेदार नहीं होते हैं तो उसके बाद उत्तराखंड कैडर के वरिष्ठता क्रम में ओमप्रकाश का नाम सबसे आगे है, जो कि 1987 बैच के आईएएस अफसर हैं. 15 मई 2017 को उन्हें अपर मुख्य सचिव की जिम्मेदारी सौंपी गई थी. कई महत्वपूर्ण विभाग भी उनके पास रहे हैं. ओमप्रकाश लंबे समय से उत्तराखंड में सेवाएं दे रहे हैं, जिसके कारण वे राज्य के हालातों से पूरी तरह वाफिक हैं. हालांकि उनके विवादों और आलोचकों की लिस्ट काफी लंबी है, जिसके कारण वे हमेशा ही सुर्खियों में रहते हैं. 33 साल की उनकी सेवाओं के बीच कुछ विवाद हैं जो कि उनकी इस राह में रोड़ा बन सकते हैं.