सोमेश्वर: राशन कार्डों को ऑनलाइन करने के दौरान सैकड़ों ग्रामीणों के नाम डाटा से हट गए. वहीं कुछ राशन कार्डों को निरस्त भी कर दिया है, जिसको लेकर शुक्रवार को ग्राम प्रधान संगठन ने सोमेश्वर तहसील कार्यालय में जमकर विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शनकारियों की प्रशासन से तीखी नोकझोंक भी हुई. प्रदर्शनकारियों ने पांच जून तक राशन से वंचित लोगों को सरकारी राशन न मिलने पर राशन गोदाम में तालाबंदी करने और राशन की दुकानों से राशन नहीं बांटने देने की चेतावनी दी है.
सभा को संबोधित करते हुए संगठन के अध्यक्ष रणजीत नयाल ने कहा कि राशन कार्डों को ऑनलाइन करने की प्रक्रिया में प्रत्येक गांव में दर्जनों उपभोक्ताओं के नाम राशन कार्ड से हटा दिए गए. कई लोगों के राशन कार्ड निरस्त कर दिए गए हैं. सरकारी तंत्र की इस घोर लापरवाही के कारण क्षेत्र के सैकड़ों उपभोक्ता पिछले कई महीनों से सरकारी राशन से वंचित हो गए. कोविड-19 लॉकडाउन के दौरान बेरोजगार हुए गरीबों को सरकारी शरान योजना का लाभ भी नहीं मिल पा रहा है.
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ग्राम प्रधानों को समर्थन देते हुए ताकुला के ज्येष्ठ प्रमुख एडवोकेट ललित दोसाद ने बताया कि इस समस्या का समाधान किए जाने की मांग को लेकर उप जिलाधिकारी, जिलाधिकारी, जिला पूर्ति अधिकारी और राज्यमंत्री रेखा आर्य से गुहार लगा चुके हैं, लेकिन उन्होंने कोरे आश्वासन के सिवाय कुछ नहीं मिला है. राशन कार्डों में सरकारी तंत्र की गलती से हुई गड़बाड़ी के कारण गांव में परेशान उपभोक्ता ग्राम प्रधानों के सिर पर रहे चढ़ रहें हैं. शासन-प्रशासन मामले का हल निकालने की वजह टाल-मटोल कर रहा है. उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा है कि शीघ्र राशन कार्ड में हुई खामियों को नही सुधारा गया, नहीं तो वे बीडीसी सदस्यों को साथ लेकर उग्र आंदोलन करने को विवश होंगे.
इस दौरान पुलिस-प्रशासन के साथ ग्राम प्रधानों की तीखी नोकझोंक भी हुई. धरना स्थल पर पहुंचे तहसीलदार अक्षय भट्ट और विधायक प्रतिनिधि भुवन जोशी के साथ हुई वार्ता भी विफल रही. ग्राम प्रधानों ने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर पांच जून तक राशन से वंचित लोगों को राशन नहीं मिला और साथ ही कार्डों में सुधारीकरण नहीं किया गया, तो वह आरएफसी के गोदाम में तालाबंदी करेंगे. साथ ही क्षेत्र में सस्ते गल्ले की दुकानों में राशन वितरण नही होने देंगे.