देहरादून: लोकसभा चुनाव में कांग्रेस ने अपना मेनिफेस्टो जनता के बीच रख दिया है. वहीं, बीजेपी घोषणापत्र को लेकर लगातार कांग्रेस पर हमला बोल रही है. हालांकि कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में गरीबों को न्यूनतम आय गारंटी का लाभ दिये जाने का जिक्र किया है. कांग्रेस ने घोषणापत्र में आर्म्ड फोर्स स्पेशल पावर एक्ट (अफस्पा) और देशद्रोह कानून का भी जिक्र किया है. वहीं, कांग्रेस के मेनिफेस्टो को लेकर बीजेपी भी हमलावर मुद्रा में है.
मीडिया से बातचीत करती कांग्रेस प्रदेश प्रवक्ता गरिमा दसौनी.
बीजेपी के घोषणा पत्र की इन्हीं दो बातों पर फोकस करते हुए कांग्रेस को अलगाववादी पत्थरबाजों को साथ देने वाली पार्टी बता रही है. जिसके जवाब कांग्रेस ने पलटवार करते हुए भाजपा की मंशा पर सवाल उठाए हैं. बीजेपी और कांग्रेस के नेता एक दूसरे के घोषणा पत्र पर लगातार सवाल उठा रहे हैं. कांग्रेस का कहना है कि घोषणा पत्र को ढकोसला बताने वाली भाजपा एक तरह से गरीबों, बेरोजगारों, किसानों का मजाक उड़ा रही है, जिससे भाजपा की मंशा का पता चलता है. वहीं, कांग्रेस प्रदेश प्रवक्ता गरिमा दसौनी ने कहा कि कांग्रेस के घोषणापत्र में गरीबों को बहत्तर हजार रुपये सालाना दिए जाने की बात कही गई है, जो बीजेपी को सहन नहीं हो पा रही है.
उन्होंने कहा कि घोषणा-पत्र में आर्म्ड फोर्सेस स्पेशल प्रोटेक्शन एक्ट (अफस्पा) को रिव्यू करने की बात की गई है. जबकि 1958 में यह कानून लाया गया था इतने दशको बाद अगर कोई पार्टी ने अफस्पा कानून को हटाने का काम किया है तो वो भाजपा है. गरिमा ने कहा कि 2016 में त्रिपुरा और मेघालय में बीजेपी ने अफस्पा हटाया था. वहीं, अरुणाचल के कुछ भागों में बीजेपी ने ही अफस्पा को खत्म करने का काम किया था. कांग्रेस पार्टी उस कानून की समीक्षा करने की बात कर रही है, न कि एक्ट को हटाने का जिक्र कर रही है. अफस्पा में अगर कोई बिंदु ऐसे लगेंगे जो आज समसामयिक नहीं है तो उस पर परिचर्चा की जाएगी.
उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि अगर भाजपा कुछ करें तो वह पाप की श्रेणी में नहीं आता और अगर कांग्रेस पार्टी आर्म्ड फोर्सेज स्पेशल प्रोटेक्शन एक्ट को रिव्यू करने की बात कर रही है तो बीजेपी को वे पाप नजर आ रहा है. बीजेपी के नेता घोषणा पत्र की अच्छी बातों का जिक्र करने की बजाय एक मुद्दे को पकड़कर दुष्प्रचार करने में लगे हुए हैं. कांग्रेस इसे कतई बर्दाश्त नहीं करेगी और जन-जन तक जाकर बीजेपी को माकूल जवाब देगी. वहीं बीजेपी इस मुद्दे को जोरशोर से उठा रही है.