वाराणसी: विद्वत जगत को सोमवार को बहुत बड़ी छाती हुई है. हिंदी और भोजपुरी के महाकवि पंडित हरिराम द्विवेदी का निधन हो गया. वाराणसी के महमूरगंज स्थित अपने आवास पर उन्होंने अंतिम सांस ली. वे 87 वर्ष के थे. पंडित हरिराम द्विवेदी काफी दिनों से बीमार चल रहे थे. वर्ष 2023 में पत्नी सत्यभामा का निधन हो गया था. तब से पंडित जी बीमार चल रहे थे. द्विवेदी का जन्म 12 मार्च 1936 को मिर्जापुर में हुआ था.
पंडित हरिराम द्विवेदी हिंदी कवि और भोजपुरी के विद्वान होने के साथ ही बहुत ही सरल स्वभाव के थे. जो कोई इनसे मिलने के लिए जाता उनसे वे बड़े ही आदर भाव से मुलाकात करते थे. ज्यादातर भोजपुरी में बात करते थे. पंडित जी को साहित्य अकादमी पुरस्कार, साहित्य भूषण समेत प्रदेश स्तर के कई सम्मान मिले थे. रचना की बात करें तो इनकी प्रमुख रचना जीवन दायनीगंगा, पानी काहे कहानी, रमता जोगी, साइ भजन वाली की रहीं. इसके साथ ही भोजपुरी साहित्य और हिंदी कवि की एक दर्जन से ज्यादा पुस्तकों में उन्होंने अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया था.