वाराणसी: उत्तर प्रदेश के स्टांप और न्यायालय पंजीयन शुल्क राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रविंद्र जायसवाल ने वाराणसी में कहा कि, देश का इतिहास अब जब कभी भी लिखा जाएगा तो डिजिटल इंडिया की क्रांति में सीएससी में तैनात होने वाले कर्मचारी बीएलजी की भूमिका की चर्चा जरूर होगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ डिजिटल क्रांति के लिए लगातार काम कर रहे हैं.
मंत्री रविंद्र जायसवाल ने शुक्रवार को कमिश्नरी सभागार में कॉमन सर्विस सेंटरों पर ई-स्टांप सेवा का शुभारंभ किया. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) के विजन और उनकी डिजिटल इंडिया क्रांति की देन है कि दिल्ली से एक रुपया चलता है. वह शत-प्रतिशत लोगों तक पहुंचता है. यह देश का बहुत बड़ा परिवर्तन है. उन्होंने बताया कि जल्द ही कॉमन सर्विस सेंटरों पर शादी विवाह के पंजीयन की भी व्यवस्था सुनिश्चित कराई जाएगी.
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पंजीयन से संबंधित समस्त औपचारिकता पहले ही कर ली जाएगी और शादी के दिन जयमाला होने के बाद पंजीयन प्रमाण पत्र सीएससी के लोग मौके पर जाकर वर-वधू को अपने हाथ से सौंपेगें. पंजीयन की सभी व्यवस्थाएं ऑनलाइन की जाएगी. उन्होंने कहा कि भविष्य में कॉमन सर्विस सेंटर रोजगार मुहैया कराने का अवसर भी लोगों को प्रदान करेगा.
मंत्री रविंद्र जायसवाल ने कहा, कि डिजिटल क्रांति का प्रभाव स्टांप के खरीद-फरोख्त पर भी पड़ा है. ई-स्टांप से स्टांप के खरीद-फरोख्त में फर्जीवाड़ा खत्म हुआ है और देश का राजस्व बचा है. उन्होंने बताया कि प्रदेश में कॉमन सर्विस सेंटरों पर ई-स्टांप सेवा का शुभारंभ होने से 1 लाख 87 हजार नौजवानों को एक साथ रोजगार मिला है. पहले के 5 से 6 हजार वेंडर अब बच गए हैं. ई-स्टांप की बिक्री कॉमन सर्विस सेंटरों से शुरू होने से सीएससी के सामने यह चुनौती है. उन्होंने कॉमन सर्विस सेंटर संचालकों को हिदायत देते हुए कहा कि ई-स्टांप बिक्री पर अतिरिक्त धनराशि कतई नहीं ली जानी है. यदि इसकी सूचना मिली तो संबंधितों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
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