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देवी आराधना का पर्व नवरात्रि कल से, सुबह केवल एक घंटे ही है कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त - शारदीय नवरात्रि

शारदीय नवरात्रि (Shardiya Navratri Auspicious time) की शुरुआत कल से हो रही है. इसे लेकर भक्तों में काफी उत्साह है. कलश स्थापना के लिए सुबह एक घंटे का वक्त काफी शुभ रहेगा.

शारदीय नवरात्रि
शारदीय नवरात्रि

By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Oct 14, 2023, 5:26 PM IST

वाराणसी : देवी उपासना का नौ दिवसीय पर्व शारदीय नवरात्रि कल से शुरू हो रही है. शारदीय नवरात्रि अश्विन शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से नौवीं तिथि तक मान्य होती है. इस बार अश्विन शुक्ल पक्ष प्रतिपदा की तिथि 15 अक्टूबर को मिल रही है. इसलिए इस दिन ही कलश स्थापना शुभ रहेगा. 23 अक्टूबर को ही दशमी रहेगी. इस दिन ही देविका हवन, कन्या पूजन के बाद अन्य विसर्जन से जुड़े अनुष्ठान पूर्ण किए जाएंगे.

पूजन व हवन 23 को होगा :काशी हिंदू विश्वविद्यालय के ज्योतिष विभाग के पूर्व विभाग अध्यक्ष प्रो. विनय कुमार पांडेय ने बताया कि 21 अक्टूबर शनिवार को सप्तमी तिथि में पत्रिका प्रवेश, सरस्वती आह्रान, देवी-प्रतिमा की पंडालों में प्राण प्रतिष्ठा और पूजन भी संपन्न होगा. वहीं महाष्टमी व्रत और देवी अन्नपूर्णा की परिक्रमा 22 अक्टूबर रविवार को की जाएगी. महानवमी व्रत एवं पाठ, पूजन व हवन 23 अक्टूबर को होगा.

अभिजीत मुहूर्त में होगी कलश यात्रा.

नवरात्रि का समापन 23 को :प्रोफेसर ने बताया कि अब की प्रतिपदा तिथि शाम 6:40, चित्रा नक्षत्र और दोपहर 11:55 तक वैधृति योग है. इसलिए कलश स्थापना अभिजीत मुहूर्त में किया जाएगा. यह अभिजीत महूर्त सुबह 11:30 से 12:28 तक रहेगा. इसमें ही कलश स्थापना व पूजन संपन्न होगा. नवरात्रि का समापन 23 अक्टूबर को महानवमी पूजन से होगा इस दिन शाम को दशमी भी मनाई जाएगी.

23 अक्टूबर को दशमी रहेगी.

24 को होगा विसर्जन :पंडित विनय पांडेय का कहना है कि 23 को ही दोपहर में दशहरे से जुड़े अन्य कार्य भी किए जा सकते हैं. 23 को ही दशहरे का मान होगा. इस दिन शमी पूजन, अपराजिता पूजन, नीलकंठ दर्शन, शस्त्र पूजन और अन्य धार्मिक कार्य किए जाएंगे. 24 को पंडालों में विराजित की गईं माता दुर्गा की प्रतिमा का विसर्जन होगा.

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