वाराणसीःबदलते बनारस में वाहनों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है. लेकिन, चौंकाने वाली बात यह है कि वाहनों की संख्या के अनुसार ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने वालों की संख्या में कमी देखी जा रही है. आरटीओ विभाग के आंकड़ों के अनुसार इस वर्ष में 49 हजार नए वाहन खरीदे गए. लेकिन महज 16 हजार लोगों ने ही लाइसेंस के लिए आवेदन किया है.
जानकारी के अनुसार, वाहन मालिकों की सुविधा के लिए आरटीओ के ड्राइविंग ट्रेनिंग सेंटर के कार्यालय को शहर के मध्य के करौंदी इलाके में शिफ्ट किया गया है. ताकि ज्यादा संख्या में लोग यहां पहुंचकर अपना लाइसेंस बनवा सके. मगर इसका परिणाम उलटा देखने को मिल रहे हैं. लगभग 396 लाइसेंस बनाने की क्षमता वाले केंद्र पर महज 125 आवेदक पहुंच रहे हैं. इसमें करीब 30 फीसदी आवेदक टेस्ट में फेल हो जा रहे हैं.
लाइसेंस बनाने में फिसड्डी बनारसःहैरान करने वाली बात यह है कि प्रशासन की ओर से प्रतिदिन चेकिंग अभियान भी चलाया जाता है. इससे लोगों को नियमों व आवश्यक कागजों के विषय में जागरूक किया जा सके. मगर इन सबके बावजूद शहर लाइसेंस के मामले में फिसड्डी है. इस बारे में आरआई सिद्धू कुमार ने बताया कि लगभग 1 साल पहले स्थाई ड्राइवर लाइसेंस की प्रक्रिया को बाबतपुर कार्यालय और चौकाघाट संकुल से हटा करके करौदी में बनाए गए. इस ड्राइविंग ट्रेनिंग स्कूल में शिफ्ट कर दिया गया था. यहां पर आधुनिक सुविधाओं के साथ कोई भी व्यक्ति डीएल (ड्राइविंग लाइसेंस ) बनवा सकता है.
उन्होंने बताया कि, यहां ड्राइविंग लाइसेंस के लिए प्रक्रिया पूरी करने की क्षमता 396 है, लेकिन वर्तमान में महज 100 से लेकर के 125 व्यक्ति ही लाइसेंस के आवेदन के लिए आ रहे हैं. संख्या में कमी को देखते हुए बीच में स्लॉट को कम करके 180 आवेदकों के लिए सीमित कर दिया गया था. मगर, बाबतपुर और चौकाघाट के निर्धारित 396 आवेदन का स्लॉट फिर से यहां लागू कर दिया गया है. बावजूद इसके लाइसेंस बनवाने वालों की संख्या में कमी देखी जा रही है.