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Dogs Sterilization : कुत्तों की नसबंदी में अनियमितता की जांच शुरू, दोषियों पर होगी कार्रवाई

वाराणसी में कुत्तों की नसबंदी ( Dogs Sterilization ) में हो रही अनियमितता की शिकायत पर नगर आयुक्त ने जांच के आदेश दिए हैं. जिले में कुत्तों की संख्या में हो रहे इजाफे को रोकने के लिए एक संस्था को नसबंदी करने का कार्य सौंपा है.

कुत्तों की नसबंदी.
कुत्तों की नसबंदी.

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Published : Dec 28, 2021, 2:23 PM IST

वाराणसी : शहर में निराश्रित कुत्तों की संख्या में इजाफे में रोक लगाने के लिए नगर निगम ने निविदा जारी कर नसबंदी का टेंडर जारी किया था. जिससे शहर में बढ़ रहे कुत्तों पर रोक लगाई जा सके. आरोप है कि जिस संस्था को यह कार्य सौंपा गया है, वह ठीक तरीके से काम नहीं कर रही है. इस पर नगर आयुक्त प्रणय सिंह ने संज्ञान लिया है. उन्होंने नगर निगम के पशु कल्याण विभाग को मामले की जांच सौंपी है.

नगर निगम ने शहर में बढ़ते कुत्तों के कारण उनकी नसबंदी करने की योजना बनाई है. इस अभियान को कोरोना संक्रमण काल थमने के बाद इस वित्तीय वर्ष में नगर निगम प्रशासन ने वाराणसी की संस्था मानव गौरव निर्माण को नसबंदी की जिम्मेदारी सौंपी थी. संस्था ने नसबंदी का जो प्रारूप बनाया है, उस हिसाब से कुत्तों को गलियों और सड़कों से उठाकर ले जाते हैं. नसबंदी कर वहीं पर दोबारा छोड़ते हैं. संस्था के इस कार्य पर कई अन्य संस्थाओं के साथ ही आमजन ने भी आरोप लगाया है.

पार्षदों ने भी शिकायत दर्ज कराई है

पार्षदों का कहना है कि संस्था जिस स्थान पर नसबंदी करती है. वहां पर समुचित व्यवस्था नहीं है. न तो उसके पास उपयुक्त संसाधन हैं, और न ही योग्य चिकित्सक. बिना प्रशिक्षण के कुछ लोग कुत्तों की नसबंदी कर रहे हैं. इससे कुत्तों की जान पर बन आती है. आरोप है कि सिर्फ मेल कुत्तों की ही नसबंदी हो रही है. इससे उनकी संख्या नियंत्रण की दिशा में खास प्रभाव नहीं पड़ रहा है.

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शहर में अनुमानित 35 हजार से अधिक कुत्ते

शहर में कुत्तों की संख्या के लिए कोई अधिकृत जानकारी तो अब तक नगर निगम ने उपलब्ध नहीं कराई है. लेकिन अनुमान के मुताबिक करीब 35 हजार कुत्ते शहर की सड़कों और गलियों में रहते हैं. पशु कल्याण विभाग प्रभारी और अपर नगर आयुक्त सुमित कुमार ने कोरोना संक्रमण काल के दौरान कुत्तों की संख्या जानने के लिए इलाकेवार नगर निगम कर्मियों को लगाया था, लेकिन उसकी रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की. जीओ टैगिंग का दावा भी किया था जो अब तक हकीकत नहीं हो सकी. नगर निगम प्रशासन ने मामले को संज्ञान में लेते हुए जांच का आदेश दिया है.

नगर आयुक्त प्रणय सिंह ने बताया की नगर निगम प्रशासन ने मामले को संज्ञान में लेते हुए जांच का आदेश दिया है. दो से तीन दिनों में रिपोर्ट आ जाएगी, जिस आधार पर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

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