वाराणसी :काशी हिन्दू विश्वविद्यालय में एक नवंबर को छात्रा के साथ छेड़खानी और अश्लीलता की गई थी. घटना के बाद से आरोपियों पर सख्त कार्रवाई की मांग को लेकर छात्र-छात्राएं आंदोलनरत हैं. अभी तक आरोपी पकड़े नहीं जा सके हैं. इसके अलावा परिसर में सुरक्षा व्यवस्था भी अभी तक पुख्ता नहीं हो पाई है. पुलिस आरोपियों को पकड़ने में नाकाम साबित हो रही है. हर सवाल का एक ही जवाब मिल रहा है कि कैंपस में अंधेरा था, इससे सीसीटीवी में आरोपियों की तस्वीरें साफ नहीं आ पाईं हैं.
अंधेरे का फायदा उठाकर फरार हो गए थे आरोपी :काशी हिन्दू विश्वविद्यालय परिसर में फैले 'अंधेरे' को समझते हैं. एक नवंबर की तारीख थी. रात के करीब 1:30 बजे IIT-BHU परिसर में छात्रा अपने एक दोस्त के साथ किसी काम से जा रही थी. इस दौरान कैंपस में लाइटें जल रहीं थीं. कहीं-कहीं अंधेरा भी था. इस दौरान पीछे से बुलेट बाइक से 3 युवक आए. वे दोनों को परेशान करने लगे. इसके बाद छात्रा के दोस्त को अलग कर दिया. छात्रा को अंधेरे में एक किनारे ले जाकर उसके कपड़े उतरवाए. अश्लील वीडियो बनाया और तस्वीरें भी लीं. इसके बाद आरोपी अंधेरे का फायदा उठाकर फरार हो गए. पीड़िता ने अपने बयान में प्राइवेट पार्ट छूने का भी आरोप लगाया है.
पुलिस आरोपियों को पकड़ने में नाकाम रही है. सीसीटीवी फुटेज से आरोपियों की नहीं हो पा रही पहचान :IIT-BHU के स्टूडेंट्स ने विरोध प्रदर्शन करना शुरू कर दिया है. वे आरोपियों की गिरफ्तार की मांग कर रहे हैं. घटना के करीब 8 दिन बीत चुके हैं. मगर आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो सकी है. छात्रों का कहना है कि आरोपियों की गिरफ्तारी के बारे में पूछने पर पुलिस कह रही है कि अंधेरा होने के कारण सीसीटीवी कैमरों की फुटेज साफ नहीं है. यही कारण है कि आरोपियों की पहचान करने में समस्या आ रही है और उनकी गाड़ी की पहचान करने में मुश्किल का सामना करना पड़ रहा है. छात्रों के आरोप को देखें तो इसमें सबसे अधिक समस्या अंधेरे की ही आ रही है. अंधेरे के कारण इतने जघन्य अपराध के आरोपी बचकर खुलेआम घूम रहे हैं.
कैंपस में नहीं है पर्याप्त लाइटिंग की व्यवस्था :IIT-BHU और BHU के छात्रों ने जब 2 नवंबर से उग्र आंदोलन शुरू किया. इसके बाद जिला प्रशासन और पुलिस सुरक्षा व्यवस्था बनाने के लिए कैंपस में पहुंची. इस दौरान IIT-BHU और BHU प्रशासन के लोग भी मौजूद थे. उस समय भी सबसे पहले एक ही मुद्दा उठाया गया कि कैंपस में काफी अंधेरा है. इसकी वजह से ही यहां पर अपराध करने में आरोपी कामयाब हुए हैं. छात्रों ने आरोप लगाया कैंपस के किसी भी गेट और परिसर में लाइटिंग की व्यवस्था न होने के कारण न सिर्फ हमें दिक्कत हो रही है. बल्कि यहां के सीसीटीवी कैमरे भी ठीक से काम नहीं कर रहे हैं. इतना ही नहीं गेट पर पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था भी नहीं है.
आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए छात्र-छात्राएं आंदोलनरत हैं. शिक्षा मंत्रालय जारी करेगा 100 करोड़ का बजट :मामले को तूल पकड़ने के बाद विश्वविद्यालय प्रशासन हरकत में आया. परिसर में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ाए जाने की कवायद तेज कर दी गई. IIT-BHU और BHU कैंपस में सीसीटीवी कैमरे सहित अन्य व्यवस्थाओं के लिए शिक्षा मंत्रालय 100 करोड़ रुपये का बजट जारी करेगा. जारी होने वाले इस बजट में 24 करोड़ रुपये से IIT-BHU और 26 करोड़ रुपये से विश्वविद्यालय परिसर को सीसीटीवी कैमरों से लैस किया जाएगा. दोनों ही शैक्षणिक संस्थानों के अलग-अलग कंट्रोल और सर्वर रूम बनाए जाएंगे. इसके साथ ही विश्वविद्यालय परिसर में डार्क जोन खत्म करने के लिए स्ट्रीट लाइट की व्यवस्था बढ़ाई जाएगी. इसके लिए कैंपस में सर्वे शुरू करा दिया गया है. कैमरों के लिए बनने वाले कंट्रोल रूम प्रॉक्टोरियल बोर्ड की निगरानी में रहेंगे.
पेट्रोलिंग और निगरानी बढ़ाने का फैसला :पुलिस, जिला और विश्वविद्यालय प्रशासन के बीच सहमति बनी है. इसमें संस्थान के महत्वपूर्ण बैरियर प्वाइंट्स/इंट्री प्वाइंट, मुख्य तिराहों तथा चौराहों पर संस्थान सुरक्षाकर्मी और पुलिस के सुरक्षाकर्मी तैनात रहेंगे, जो मौजूद प्रॉक्टोरियल बोर्ड के सुरक्षाकर्मियों का सहयोग करेंगे. इसके साथ ही BHU और IIT-BHU के सुरक्षा ड्यूटी चार्ट की जांच की जाएगी. आवश्यकतानुसार रात की सुरक्षा के लिए उचित कदम उठाए जा रहे हैं. वहीं, IIT-BHU के 03 और BHU के नाइट पेट्रोलिंग पार्टी के साथ चेकिंग रजिस्टर रखे जाएंगे. सभी ड्यूटी प्वाइंट पर प्रत्येक दो घंटे पर इसकी निगरानी भी की जाएगी.
बीएचयू में बाहरियों की इंट्री बैन और पिंक बूथ पर चर्चा :आईआईटी परिसर में एक पुलिस पिंक बूथ की स्थापना की जा रही है. इसके लिए स्थान चिन्हित कर लिया गया है, जहां महिला पुलिस कर्मी मौजूद रहेंगी. वहीं, संस्थान में विभिन्न स्थानों पर हेल्पलाइन नंबर डिस्प्ले किये जाएंगे, जिनमें बीएचयू कंट्रोल रूम, आईआईटी बीएचयू कंट्रोल रूम, पुलिस प्रशासन व अन्य हेल्पलाइन नंबर आदि शामिल रहेंगे. IIT-BHU कैंपस में एक पुलिस पिंक बूथ होगा. इसमें महिला पुलिसकर्मी 24 घंटे मौजूद रहेंगी. BHU कैंपस के सभी एंट्री प्वाइंट्स पर रात 10 बजे से सुबह 5 बजे तक बाहरी लोगों के वाहनों के नंबर नोट किए जाएंगे. ऐसे में पूरी व्यवस्था विश्वविद्यालय परिसर में 'अंधेरे' के आसपास ही घूमती नजर आ रही है, जिसकी वजह से आरोपी पुलिस की पकड़ से दूर हैं.
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