उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

ETV Bharat / state

पाइल्स के मरीजों के लिए तैयार हुई संजीवनी, 20 दिन में पूरी तरह से ठीक होने का दावा - बवासीर यानी पाइल्स के लिए औषधि तैयार

वाराणसी राजकीय आयुर्वेद कॉलेज के शल्य तंत्र विभाग के डॉक्टर ने बवासीर यानी पाइल्स के लिए एक औषधि तैयार की है. जिससे 20 दिनों में पाइल्स की समस्या खत्म हो जाएगी.

वाराणसी में पाइल्स के मरीजों के लिए तैयार हुई संजीवनी,
वाराणसी में पाइल्स के मरीजों के लिए तैयार हुई संजीवनी,

By

Published : Jul 20, 2023, 6:25 PM IST

वाराणसी में पाइल्स के मरीजों के लिए तैयार हुई संजीवनी,

वाराणसी:इन दिनों पाइल्स के मरीजों की संख्या बढ़ रही है. इसमें सबसे ज्यादा दिक्कत ब्लड के पाइल्स की होती है, जो मरीजों के लिए खासा घातक होता है. ऐसे में वाराणसी के राजकीय आयुर्वेद कॉलेज में इस बीमारी को लेकर एक शोध किया है. शोध में दावा किया गया है कि आयुर्वेद की औषधि से पाइल्स की समस्या 20 दिनों के अंदर ठीक हो जाएगी. इसके लिए बकायदा 60 मरीजों पर अध्ययन किया गया है, जिसमें सफलता हासिल हुई है.

आयुर्वेद कॉलेज के शल्य तंत्र विभाग के डॉ. उज्जवल शिवहरे ने बवासीर यानी पाइल्स के लिए एक औषधि तैयार की है. इस औषधि के शोध कार्य में विभाग के डॉ. मृगांक शेखर, डॉ. शैलेंद्र और डॉ. टीमा सिंघल ने बड़ी भूमिका निभाई है. चिकित्सक का कहना है कि इस दवा के माध्यम से मरीज एक महीने में पूरी तरह से स्वस्थ महसूस करने लगता है. इसके साथ ही पाइल्स में होने वाला रक्तस्राव भी 15 से 20 दिन में बंद हो जाता है. इस दवा का प्रयोग 60 मरीजों पर किया गया है.

पाइल्स के मरीजों के लिए तैयार हुई संजीवनी
लाइफस्टाइल और गलत खान-पान है समस्या:डॉक्टर मृगांक शेखर ने बताया कि पाइल्स की समस्या पर उनके दिशा-निर्देशन में छात्र उज्ज्वल शिरहरे ने शोधकार्य किया था. पाइल्स के मरीज अधिक आते रहते हैं. आजकल इसके मामले भी बहुत बढ़ रहे हैं. खराब लाइफस्टाइल और खाने-पीने की वजह से ऐसा सामने आ रहा है. हमने सोाचा कि इस बीमारी को ठीक करने के लिए कुछ नया किया जाए. आयुर्वेद में जो औषधि बताई गई है, उसका इस्तेमाल करने के बारे में सोचा गया. पाइल्स में ब्लीडिंग होती है या कोई अन्य परेशानी आती है, जैसे कमजोरी आदि होती है तो इसे भी ध्यान रखा गया.
डाक्टर मृगांक शेखर, शल्य तंत्र विभाग
पाचन शक्ति कमजोर होने से बढ़ती है समस्या: डॉक्टर मृगांक शेखर ने बताया कि पाइल्स मुख्य रूप से कॉन्स्टिपेशन की वजह से होता है. अगर पाचन शक्ति सही नहीं है तो उसकी वजह से ये समस्या आती है. आयुर्वेद के शास्त्र में बताया गया है कि अर्श (पाइल्स) आपके खराब डाइजेशन की वजह से होता है. इसकी वजह से कॉन्स्टिपेशन होता है. मरीज देर तक वॉशरूम में देर तक बैठते हैं. आधा से एक घंटे तक भी मरीज बैठते हैं. मरीज ऐसी जानकारी देते हैं. हम सलाह देते हैं कि वॉशरूम में बैठना कम कर दें और उस दौरान जोर न लगाएं.कई तरह की औषधियों का तैयार किया मिश्रण:डाक्टर मृगांक शेखर ने बताया कि मल त्याग के दौरान जोर लगाने से सूजन और बढ़ जाती है. इससे ब्लीडिंग भी बहुत ज्यादा होती है. कम समय तक बैठने से पाइल्स मस बाहर नहीं आएगा और ब्लीडिंग भी अधिक नहीं होगी. ये भी एक तरह का इलाज है. इसके साथ ही हम जो औषधि देते हैं उसमें कई तरह की औषधियों का मिश्रण किया गया है, जिसे रक्ताश्र घनवटी नाम दिया है. इसका प्रयोग मरीज की पाचन शक्ति को सही रखना और कॉन्स्टिपेशन की परेशानी में भी आराम मिलना ध्यान रखा गया है. इसमें ब्लीडिग को रोकने के लिए भी औषधि है.दो सप्ताह में मरीज स्वस्थ महसूस करने लगे: उन्होंने बताया कि दो-तीन तरह की औषधियों के मिश्रण को लेकर हमने ये टैबलेट तैयार किया है. इससे मरीजों को काफी राहत मिली है. जो भी मरीज आ रहे हैं उनका हमने फॉलोअप लिया. उन्हें एक से दो सप्ताह बाद ही आराम मिलना शुरू हो गया. ब्लीडिंग कम हो गई. हमने 60 मरीजों को इस शोध कार्य में शामिल किया. 30-30 मरीजों के दो ग्रुप बनाए. ये टैबलेट हमने इन्हें 500 एमजी सुबह और शाम को दिया गया. एक महीने तक दवा दी गई. ज्यादातर को एक सप्ताह के बाद आराम मिलने लगा. दो सप्ताह में ब्लीडिंग भी रुक गई.

ABOUT THE AUTHOR

...view details