प्रयागराज: उमेश पाल हत्याकांड में शामिल शूटर साबिर का 80 दिन बाद भी यूपी एसटीएफ और पुलिस पता नहीं लगा सकी है. पांच लाख रुपये के इनामी साबिर ने उमेश पाल और उसके दो गनर की हत्या में राइफल से फायरिंग कर घटना को अंजाम देने में अहम भूमिका निभाई थी. तीन लोगों की हत्या के दौरान एक तरफ जहां गुड्डू मुस्लिम बमबाजी कर रहा था, वहीं शूटर साबिर राइफल से ताबड़तोड़ फायरिंग करके हत्याकाण्ड को अंजाम तक पहुंचा रहा था. शूटर साबिर जितना खतरनाक अपराधी है उतना ही शातिर उसका दिमाग भी है. यही वजह है कि घटना के 80 दिन बाद भी यूपी एसटीएफ और पुलिस उसके बारे में कोई खास जानकारी हासिल नहीं कर सकी है.
साबिर कब आएगा पुलिस की गिरफ्त में:उमेश पाल की हत्या के 80 दिन बाद भी यूपी की तेज तर्रार एसटीएफ और प्रयागराज पुलिस खाली हाथ है. हाईटेक पुलिस आधुनिकतम तकनीकों का इस्तेमाल करने के बावजूद पांच लाख के इनामी शूटर साबिर का कहीं कोई सुराग नहीं लगा पाई है. साबिर लगातार अपने ठिकाने बदलकर पुलिस और एसटीएफ को चकमा दे रहा है. यही नहीं पुलिस को यह भी पता चला है कि अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या के बाद शाइस्ता परवीन इसी साबिर के साथ जनाजे में शामिल होने की तैयारी में थी.