मुजफ्फरनगर: भले ही यूपी विधानसभा चुनाव (UP Assembly Election-2022) को अभी वक्त है, लेकिन मुजफ्फरनगर की सदर विधानसभा (14) सीट (Muzaffarnagar Sadar Assembly) पर अबकी भाजपा बनाम सपा गठबंधन के बीच मुकाबले के आसार दिख (Competition between BJP and Samajwadi Party)रहे हैं. वहीं, क्षेत्र के मतदाताओं को अपने पाले में करने को अभी से ही सियासी पार्टियों के नुमाइंदें मैदान में उतर गए हैं और तेजी से जनसंपर्क बढ़ाने में लगे हैं, ताकि किसी तरह से मतदाताओं को लुभाया जा सके.
इधर, सत्ताधारी भाजपा ने सूबे में अपने साढ़े चार साल के कार्यकाल के दौरान किए गए विकास कार्यों के लेखा-जोखा को लेकर क्षेत्रों का दौरा शुरू किया है तो वहीं, विपक्षी पार्टियों ने जनता के समक्ष भाजपा कार्यकाल में हुई खामियों का ब्यौरा पेश करना शुरू कर दिया है.
यदि हम मुजफ्फरनगर की सदर विधानसभा सीट (14) की बात करें तो यहां करीब 3 लाख 46 हजार 673 मतदाता है, जिसमें एक लाख 86 हजार 110 पुरुष और एक लाख 60 हजार 530 महिला मतदाता हैं. हालांकि, 2017 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने सीट पर कब्जा कर लिया और आने वाले 2022 के विधानसभा चुनाव में यहां भाजपा और सपा रालोद गठबंधन के बीच मुकाबला तय माना जा रहा है.
दरअसल, इस सीट पर वैश्य समाज की बाहुल्यता को देखते हुए सभी सियासी पार्टियां यहां वैश्य समाज से ही प्रत्याशी देती आई हैं. वहीं, वर्तमान भाजपा के कपिल देव अग्रवाल यहां से विधायक हैं. लेकिन पिछले चार विधानसभा चुनावों में यहां से दो बार समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी जीते हैं, जबकि दो बार भाजपा को कामयाबी मिली है.
खैर, अबकी इस सीट पर कौन जीत दर्ज करेगा, यह तो कहना मुश्किल है, लेकिन जमीनी समीकरण की समीक्षा पर यह जरूर साफ हो जाता है कि यहां मुख्य तौर पर मुकाबला भाजपा और सपा गठबंधन के बीच ही होना है.