मुजफ्फरनगर: उत्तर प्रदेश में इन दिनों ग्राम पंचायत चुनाव को लेकर सरगर्मियां तेज हो गयी हैं. ग्राम पंचायत चुनाव को लेकर सभी राजनैतिक पार्टियों ने अपने-अपने प्रत्याशियों की सूची जारी कर प्रधान पद के नामांकन करा दिए हैं. गांव की सरकार बनाए जाने के लिए जहां युवाओं और महिलाओं की बड़ी भागेदारी देखने को मिल रही है वहीं कई ऐसे प्रत्याशी भी हैं जिन्होंने अपनी सरकारी नौकरी से वीआरएस लेकर गांव की प्रधानी करने का बीड़ा उठाया है. मुजफ्फरनगर जिले की अंतरराष्ट्रीय शूटर नेहा तोमर ने भी ग्राम प्रधान पद के लिए नामांकन पत्र दाखिल किया है. नेहा का उद्देश्य अपने गांव का विकास और ग्रामीण खेलकूद को बढ़ावा देना है.
यूपी पंचायत चुनाव: मुजफ्फरनगर से नेशनल शूटर भी चुनावी मैदान में
यूपी के मुजफ्फरनगर में ग्राम पंचायत चुनाव को लेकर जिले की अंतरराष्ट्रीय शूटर नेहा तोमर ने भी ग्राम प्रधान पद के लिए नामांकन पत्र दाखिल किया है. नेहा का उद्देश्य अपने गांव का विकास और ग्रामीण खेलकूद को बढ़ावा देना है.
जीत चुकी हैं गोल्ड और सिल्वर मेडल
मुजफ्फरनगर के कुकड़ा ब्लॉक क्षेत्र के ग्राम मखियाली निवासी 21 वर्षीय शूटर नेहा तोमर वर्ष 2018 में जर्मनी में जूनियर शूटिंग वर्ल्ड कप में देश के लिए 50 मीटर फ्री पिस्टल प्रतिस्पर्धा में व्यक्तिगत में सिल्वर और इसी वर्ग में टीम के साथ गोल्ड मेडल जीत चुकी हैं. 2018 में कुवैत में हुए एशियन एयर गन चैंपियनशिप में 10 मीटर एयर पिस्टल में भी उन्होंने सिल्वर मेडल जीता था. इसके अलावा स्टेट और राष्ट्रीय स्तर पर भी वह अनेक पदक जीत चुकी हैं. डीएवी डिग्री कॉलेज में बीए अंतिम वर्ष की छात्रा नेहा का सपना ओलंपिक में भी देश के लिए पदक जीतना है. पंचायत चुनाव में नेहा के गांव मखियाली में सीट महिला के लिए आरक्षित हुई, तो उसने ग्राम प्रधान पद का चुनाव लड़ने की इच्छा जाहिर की. जिस पर उसके किसान पिता राजीव तोमर और मां रेणु तोमर ने बेटी को प्रोत्साहित किया. नेहा ने मां के साथ सदर ब्लॉक में पहुंचकर ग्राम प्रधान पद के लिए नामांकन पत्र दाखिल किया.
चुनाव जीतकर गांव में बनवाएंगी स्टेडियम
नेहा ने बताया कि ग्राम प्रधान पद का चुनाव लड़ने के पीछे उसका उद्देश्य गांव का विकास करने के साथ युवा वर्ग को शिक्षित करना और उन्हें खेलों में प्रोत्साहित करके उनका करियर बनाना है. यदि ग्रामीणों ने मौका दिया तो वह गांव में कॉलेज और स्टेडियम का निर्माण कराएंगी. उनके पिता कॉलेज के लिए 10 बीघे जमीन दान में दे चुके हैं. इन्हीं मुद्दों को लेकर वह चुनाव मैदान में उतरी हैं. वह यह चुनाव जीतकर गांव में इंटर कॉलेज भी बनवाना चाहती हैं, जिससे यहां का युवा वर्ग भी पढ़ लिखकर खेल में अपना भविष्य बनाकर गांव, शहर और देश का नाम रोशन कर सकें.