चंदौलीःवैश्विक महामारी कोरोना के चलते लगाए गए लॉकडाउन ने शादी-विवाह से जुड़े कारोबार को तबाह कर दिया है. कल तक रंग बिरंगी रोशनी से सराबोर रहने वाले मैरिज लॉन में आज सन्नाटा पसरा है. शहनाई की गूंज न जाने कहां चली गई है. शादी समारोह में मेहमानों का खैरमखदम करने वाले वेटर भुखमरी के कगार पर पहुंच गए हैं. लॉकडाउन के दौरान शादी-विवाह के आयोजन न होने से इस सीजन में जिले के कारोबारियों को लगभग 25 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ. वहीं अनलॉक-1 में भी शादी समारोह में 50 लोगों के शामिल होने के फरमान ने इस कारोबार से जुड़े लोगों के अरमानों पर पानी फेर दिया.
कई लोगों को मिलता था रोजगार
लॉकडाउन के चलते गर्मी के सीजन की लगन में तय लगभग सभी शादी समारोह या तो टल गए या फिर रद्द हो गए. इसकी वजह से वेडिंग कारोबार से जुड़े लोगों को भारी नुकसान हुआ. मैरिज लॉन संचालक से लेकर वेटर तक, पंडित से लेकर हलवाई तक, बैंड बाजा, डीजे से लेकर रोड लाइट तक, यहीं नहीं ब्यूटी पार्लर, सोनार, फोटो ग्राफर, कैटरिंग, ट्रेवेल्स तक को भारी नुकसान उठाना पड़ा है.
वेडिंग इंडस्ट्री को करोड़ों का हुआ नुकसान
मैरिज लॉन संचालक राजू इकबाल की माने तो मिनी महानगर मुगलसराय में 20 मैरिज हाल हैं. जिन्हें कोरोना के चलते अब तक 10 करोड़ से ज्यादा का नुकसान हुआ है. इसके अलावा इससे जुड़ा एक बड़ा वर्ग इस दौरान बेरोजगार हुआ है. किसी भी शादी में टेंट, हलवाई, लाइटिंग, फ्लावर, कैटरिंग के अलावा बैंड पार्टी का काम होता है. ये दैनिक भत्ते पर काम करते है. जिसकी संख्या 25 से 50 होती है, लेकिन शादी समारोह कैंसिल होने के चलते यह सभी बेरोजगार हो गए.
वहीं कारोबार के लिहाज से जिले भर की बात करे तो यहां करीब 50 मैरिज हाल संचालित हो रहे हैं, लेकिन कोरोना के चलते व्यापार शून्य पड़ा है और आगे भी कोई उम्मीद नहीं दिखाई दे रही है. आकड़ों की मानें तो पिछले दो सालों में 2018 और 2019 में करीब 25 करोड़ का वेडिंग कारोबार हुआ था.
भुखमरी के कगार पर पहुंच गए कामगार
मैरिज हाल में लाइटिंग का काम करने वाले आकाश ने बताया कि वो पिछले कई सालों से वेडिंग इंडस्ट्री में काम कर रहे हैं और शादी के सीजन में भी अच्छी कमाई कर लेते थे, लेकिन इस बार कोरोना ने सबकुछ तबाह कर दिया. काम न मिलने परिवार भुखमरी के कगार पर पहुंच गया. दो वक्त के भोजन का जुगाड़ करना भी मुश्किल हो रहा है.