मिर्जापुरः विंध्याचल धाम में आदिशक्ति माता विंध्यवासिनी के नौ रूपों की नवरात्र में आराधना की जा रही है. पहले दिन हिमालय की पुत्री पार्वती अर्थात शैलपुत्री स्वरूप का भक्तों ने पूजन किया. दूसरे दिन आज श्रद्धालु मां के ब्रह्मचारिणी स्वरूप का पूजन कर रहे हैं. प्रत्येक प्राणी को सदमार्ग पर प्रेरित करने वाली मां का यह स्वरूप बड़ा दिव्य है. दूसरे दिन भी धाम में भक्तों का ताता लगा हुआ है. लंबी-लंबी कतारों में लगकर भक्त मां विंध्यवासिनी की एक झलक पाकर निहाल हो रहे हैं.
ब्रह्मचारिणी स्वरूप का भक्त कर रहे दर्शन-पूजन
नवरात्र में आदिशक्ति माता विंध्यवासिनी के नौ रूपों की आराधना की जाती है. पहले दिन हिमालय की पुत्री पार्वती अर्थात शैलपुत्री के रूप में मां का पूजन करने का विधान है. वहीं दूसरे दिन ब्रह्मचारिणी के रूप में पूजन किया जाता है. प्रत्येक प्राणी को सदमार्ग पर प्रेरित करने वाली मां का यह स्वरूप दिव्य है. माता सफेद वस्त्र धारण कर एक हाथ में कमंडल और दूसरे हाथ में माला लिए हुए सुशोभित हैं. मां के इस रूप का पुराणों में काफी महत्व बताया गया है.