मेरठ : आज वैलेंटाइन डे है. प्रेमी-प्रेमिका इस दिन काे खास बनाने के लिए हर जतन करते हैं. जिले के रहने वाले 63 वर्षीय जीवन सिंह बिष्ट ने भी अपनी प्रेमिका के लिए खास लव लेटर लिखा है. हजाराें पन्नाें का यह प्रेम पत्र उन्हाेंने 1999 में लिखा था. इसका वजन 8 किलाे है. इसे लिखने में उन्हें 3 महीने 3 दिन का समय लगा. 111 पेन की स्याही इसे लिखने में खर्च हुई. इसके लिए उन्हें नौकरी से 7 दिन का अवकाश भी लेना पड़ा था. दरअसल, जिस युवती से उन्हाेंने प्रेम किया. उससे उनकी शादी भी हाे गई. नौकरी और पारिवारिक जिम्मेदारियाें के कारण वह पत्नी से दूर रहे. इस दौरान उन्हाेंने कागज पर अपनी भावनाएं उतारने का फैसला किया.
आगे की राेचक कहानी बताने के लिए आपकाे उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले के चापड़ गांव में लेकर चलते हैं. गांव के जीवन सिंह बिष्ट जब युवा थे ताे गांव की कमला नाम की युवती काे वह दिल दे बैठे. दाेनाें की नजदीकियां बढ़ी. इसके बाद दाेनाें ने शादी करने का फैसला कर लिया. शादी के बाद जीवन सिंह बिष्ट की यूपी के मेरठ जिले में आयकर विभाग में नौकरी लग गई. इससे वह मेरठ चले आए. पत्नी भी कुछ समय तक उनके साथ रही. उनके 3 बेटियां और एक बेटा है.
जीवन सिंह ने बताया कि बाद में पारिवारिक जिम्मेदारियाें के कारण कमला गांव में रहने लगीं. बच्चे भी गांव चले गए. उस दौरान साल 1999 चल रहा था. इस बीच उनके मन में अपनी पत्नी के लिए खास प्रेम पत्र लिखने का ख्याल आया. नौकरी के दौरान ही इस लव लेटर काे लिखना शुरू किया. पत्र के लिए समय निकालना मुश्किल काम था, लेकिन उन्हाेंने इसे अपनी आदत में शुमार कर लिया. नौकरी से आते ही जरूरी काम निपटा कर लव लेटर लिखने बैठ जाते थे. मकसद था पत्नी के प्रति अपने प्यार काे व्यक्त करना. उस दौर में पत्र ही भावनाओं काे व्यक्त करने का साधन हुआ करते थे.
लव लेटर में 10 लाख से भी ज्यादा शब्द :जीवन सिंह बताते हैं कि अनाेखे पत्र काे लिखने में कई मुश्किलें आईं, लेकिन उन्हाेंने हार नहीं मानी. 111 पैन खास लव लेटर काे लिखने में खर्च किए थे. यह प्रेम पत्र दिन और रात के समय में लिखा गया था. इसे लिखने में 3 महीने 3 दिन का समय लगा था. पत्र लिखने के लिए 7 दिन की ताे छुट्टी भी लेनी पड़ी थी. लव लेटर के प्रत्येक पन्ने में औसतन 3200 शब्द लिखे गए हैं. 8 किलो वजन वाले इस लव लेटर में 10 लाख से भी ज्यादा शब्द हैं.