मेरठ : जिले के बेसिक शिक्षा विभाग में एक टीचर और एक फोर्थ ग्रेड कर्मचारी (fake Teacher and peon in meerut ) ने वर्षों पहले मृतक के फर्जी आश्रित बनकर नौकरी ले ली. फिर विभाग का कर्मचारी बनकर वर्षों तक तनख्वाह लेते रहे. हद यह है कि दोनों आरोपी के माता-पिता में से किसी ने शिक्षा विभाग में नौकरी नहीं की थी. अब जब जांच में सच सामने आ गया है तो शिक्षा विभाग उनसे रिकवरी की तैयारी कर रहा है ( salary will be recovered) .
नकली मृतक आश्रित बनकर नौकरी करते रहे टीचर और चपरासी, अब होगी सैलरी की रिकवरी
मेरठ के बेसिक शिक्षा विभाग में दो लोग वर्षों तक नकली मृतक आश्रित बनकर नौकरी करते रहे. इन दोनों के खिलाफ शिकायत के बाद जांच हुई तो सच सामने आया. अब शिक्षा विभाग इन दोनों से सैलरी की रिकवरी करेगा. साथ ही इनके खिलाफ केस भी दर्ज कराने के आदेश दिए गए हैं.
Etv Bharat education department of Meerut
मेरठ के बेसिक शिक्षा विभाग ( education department of Meerut ) ने उच्च प्राथमिक विद्यालय नंगलामल में सहायक अध्यापक पद पर तैनात देवेंद्र कुमार और उच्च प्राथमिक विद्यालय डिमौली में अनुदेशक के पद पर नौकरी कर रहे योगेश कुमार की सेवा समाप्त कर दी है. देवेंद्र आर योगेश ने मृतक आश्रित कोटे के तहत नौकरी पाई थी. कई वर्षों तक चली जांच में यह सामने आया है कि दोनों ने फर्जी तरीके से मृतक आश्रित बनकर नौकरी हासिल की थी.