मेरठ: पश्चिम यूपी में बड़ी संख्या में किसान फूलों की खेती करते हैं. राजधानी दिल्ली और एनसीआर में फूलों की अच्छी खपत होने के कारण किसान यहां बेमौसम फूलों की खेती करके भी मुनाफा कमा रहे हैं. इस बार कोरोना वायरस ने फूलों की खेती करने वाले किसानों को दोहरी मार दी है. कोरोना के कारण देशभर में लॉकडाउन लगा है, जिस कारण फूलों की खपत शून्य हो गई है.
शादी विवाह का सीजन होने के बावजूद लॉकडाउन की वजह से बड़े समारोह में रोक लग गई है. ऐसे में शादी विवाह में होने वाली फूलों की डिमांड भी खत्म हो गई है. इस समय ग्लोडियस और रजनीगंधा की फसल की सबसे अधिक डिमांड रहती है, लेकिन लॉकडाउन की वजह से इस बार किसानों को फसल खेत में ही नष्ट करने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है.
फूलों की खेती करने वाले किसान सर्वेश का कहना है कि फरवरी तक फूलों की अच्छी डिमांड बनी हुई थी. इस बार शादी विवाह के सीजन में भी फूलों की अच्छी डिमांड होने के साथ कीमत भी अच्छी मिलने की उम्मीद थी. मार्च के अंतिम सप्ताह में लगे लॉकडाउन के बाद फूलों की डिमांड पूरी तरह से खत्म हो गई. अभी लॉकडाउन आगे खुलने की जल्द संभावना भी नहीं है. इस कारण उन्होंने अपने खेत में खड़ी फसल को खेत में ही जोतकर अब गन्ने की फसल बो दी है.