मेरठ/मुजफ्फरनगर :दो साल बाद प्रदेश में कावड़ यात्रा फिर से शुरू होने जा रही है. इसी कड़ी में मेरठ जनपद से प्रत्येक वर्ष लगभग लाखों शिवभक्त अपने-अपने गन्तव्य से कावड़ लेकर जाते हैं. यहां देश के कई पड़ोसी राज्यों के शिवभक्त दिल्ली, हरियाणा, राजस्थान से भी आने जाने के लिए मेरठ जनपद की सीमाओं से होकर गुजरते हैं. ऐसे में बड़ी जिम्मेदारी प्रशासन की हो जाती है कि उन्हें सुरक्षा प्रदान करें. सावन महीने की शीघ्र ही शुरुआत होने वाली है.
देश में कोरोना महामारी की वजह से बीते 2 वर्षों से कावड़ यात्रा पर प्रतिबंध लगा हुआ था. लेकिन इस बार प्रदेश सरकार की तरफ से कावड़ यात्रा पर हरी झंडी दे दी गई है. जिसके बाद से मेरठ जिला प्रशासन तैयारियों में जुट गया है. अधिकारी लगातार समीक्षा कर रहे हैं कि किस मार्ग में परिवर्तन किया जाए. जिससे ट्रैफिक व्यवस्था भी पूति तरह से बहाल रहे और शिवभक्तों को भी किसी तरह की समस्या न उठानी पड़े.
एसपी ट्रैफिक जे के श्रीवास्तव ने ईटीवी भारत को बताया कि गंगनहर के किनारे-किनारे शिव भक्त कावड़िये लाखों की संख्या में कावड़ लेकर जाते हैं. ऐसे में सुरक्षा के विशेष इंतजाम तो रहेंगे ही और विशेष तौर वेरिकेटिंग गंगनहर के नजदीक की जाएगी. सुरक्षा के लिए विशेष रूप से गोताखोरों की टीम भी मौजूद रहेगी.