मेरठः शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद नागरिकता संशोधन कानून और एनआरसी के विरोध में शहर का अचानक माहौल खराब हो गया था. इस घटना में तीन लोगों की मौत बताई जा रही है. एसएसपी के अनुसार, इस घटना को अंजाम देने के लिए दिल्ली समेत कई जगहों से लोग आकर इकठ्ठा हुए थे. पूरे मामले की लगातार पड़ताल जारी है. इस मामले में 500 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है और 27 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.
मेरठ में शुक्रवार को इस तरह हुई थी हिंसा. जुमे को देखते प्रशासन के द्वारा शहर की इंटरनेट सेवा बन्द कर दी गई थी. शहर भर में भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया था, लेकिन दोपहर बाद अचानक हजारों लोगों की भीड़ थाना लिसाड़ी गेट क्षेत्र के मेरठ-हापुड़ मार्ग पर उतर आई. भीड़ ने सड़क से गुजर रहे वाहनों के साथ-साथ पुलिस की गाड़ियों को निशाना बनाते हुए जमकर पथराव किया.
मेरठ में शुक्रवार को इस तरह हुई थी हिंसा. जिले में नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ प्रदर्शन शुक्रवार को हिंसा का रूप ले लिया था. प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर जमकर पथराव किया था. पुलिस प्रदर्शनकारियों को भगाने के लिए आंसू गैस के गोले और लाठीचार्ज की थी.
हिंसा के मामले में जानकारी देते एसएसपी. हिंसा पर क्या बोले एसएसपी
एसएसपी अजय साहनी ने कहा कि उपद्रवियों पर पुलिस कड़ी कार्रवाई करेगी. वीडियो फुटेज के आधार पर उपद्रवियों को चिन्हित करके गंभीर धाराओं में मुकदमे दर्ज होंगे. एसएसपी ने यह भी कहा कि जनपद में हिंसा भड़काने के लिए उपद्रवी दिल्ली से आए थे. उन्होंने बताया कि मरने वाला एक शख्स दिल्ली का रहने वाला था. दिल्ली के कई अन्य युवकों को हिंसा फैलाने के मामले में चिन्हित किया गया है. एसएसपी के मुताबिक जनपद में प्री प्लान करके हिंसा भड़काई गई है.