मेरठ:जिस उम्र में पढ़ाई के लिए स्कूल जाना चाहिए, उस उम्र में मेरठ का ये मासूम अपनों का पेट पालने के लिए सड़कों पर घूमकर चाय बेचने को मजबूर है. घर में आई एक आफत ने इस 14 वर्षीय बच्चे को चाय की केतली उठाने पर विवश कर दिया. हालांकि, जब उससे उसके बारे में पूछा गया तो उसने बताया कि वो भी दूसरे बच्चों की तरह पढ़ना लिखना चाहता है, लेकिन घर की तंगी और मां-बाप की लाचारी के कारण वो नियमित स्कूल जाकर पढ़ाई करने में असमर्थ है, क्योंकि उसके सिर पर सभी की जिम्मेदारी है और उसकी एक बहन भी है, जो अक्सर उसका इंतजार करती है.
वहीं, ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए प्रेम नाम के इस मासूम ने बताया कि उसका परिवार बेहद ही संकट की स्थिति में है. लाख गुहार के बाद भी उनकी मदद को आज तक कोई भी सामने नहीं आया. ऐसे में अपनों के लिए उसने चाय बेचना शुरू किया, ताकि उनका पेट भर सके. साथ ही उसने बताया कि वो अपनी छोटी बहन को पढ़ाना चाहता है, इसलिए वो इन दिनों ज्यादा मेहनत भी कर रहा है.
दरअसल, मेरठ के शिव शक्ति कॉलोनी का रहने वाला प्रेम (14) चाय बेचकर किसी तरह से अपने परिवार का पेट पालने के साथ ही बीमार मां की इलाज भी कर रहा है. जबकि उसके पिता भी शारीरिक अस्वस्थता के कारण काम नहीं कर पाते हैं. वहीं, मेरठ मेडिकल कॉलेज से करीब दो किलोमीटर के फासले पर स्थित शिव शक्ति कॉलोनी में एक किराए के मकान में वो अपने माता-पिता और छोटी बहन के साथ रहता है. जहां वो अपनी मां की मदद से चाय बनाता है और फिर उसे केतली में भरकर बेचने के लिए निकल जाता है.
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