मथुरा:आगामी विधानसभा चुनावों को लेकर विभिन्न राजनीतिक दल कोई कसर नहीं छोड़ना चाह रहे हैं. सभी नेता मैदान में उतरकर लोगों को अपनी ओर रिझाने का प्रयास कर रहे हैं, अपनी गोटियां बैठाने का प्रयास कर रहे हैं. जनपद मथुरा की छाता विधानसभा से तीन बार विधायक देख चुके और वर्तमान में रालोद के वरिष्ठ नेता ठाकुर तेजपाल सिंह का कहना है कि इस बार बीजेपी लहर खत्म हो चुकी है. किसान त्राहि त्राहि कर रहा है, महंगाई ने कमर तोड़ दी है और अपराधियों के हौसले बुलंद हैं.
वर्तमान में बीजेपी बैकफुट पर
वर्तमान में रालोद के वरिष्ठ नेता ठाकुर तेजपाल सिंह से आगामी विधानसभा चुनावों को लेकर चर्चा की गई तो उनका कहना था कि रालोद और सपा के गठबंधन से ही सरकार बनेगी, जिसे कोई रोक नहीं सकता. ठाकुर तेजपाल सिंह ने बताया कि 2022 में जो उत्तर प्रदेश में चुनाव का माहौल बना हुआ है वह पूरा बीजेपी विरोधी है और इस समय बीजेपी के खिलाफ लहर चल रही है. यह जो अखिलेश और जयंत चौधरी का सपा और लोकदल के बीच हुआ है इस गठबंधन की सरकार बनेगी. वर्तमान में बीजेपी बिल्कुल बैकफुट पर है, इनको समझ नहीं आ रहा है कि ये क्या करें क्या न करें. इनके प्रत्याशी भी पार्टी छोड़-छोड़ कर भाग रहे हैं. बीजेपी की इस समय हालत खराब है और निश्चित रूप से इस बार सपा और लोकदल की सरकार बनेगी.
रालोद के वरिष्ठ नेता ठाकुर तेजपाल सिंह एक भी वादा नहीं हुआ पूरा
पूर्व मंत्री ठाकुर तेजपाल सिंह ने बताया कि सरकार ने जो भी वादे किए थे उनमें से एक भी वादा पूरा नहीं हुआ, एक भी मुद्दा पूरा नहीं हुआ, जो भी कुछ हुआ है वह सब मीडिया में है. विकास केवल मीडिया और अखबारों में देखने को मिल रहा है. सरकारी पैसे का दुरुपयोग किया जा रहा है. आप अखबार उठा कर देख सकते हैं उसमें पन्ने के पन्ने भर कर आते हैं. यह सरकारी पैसे का दुरुपयोग करके अपने आपको दिखाने की कोशिश कर रहे हैं कि हमने क्या कर दिया लेकिन, धरातल पर कुछ नहीं किया गया.
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शुगर मिल का मुद्दा बरकरार
पूर्व मंत्री ठाकुर तेजपाल सिंह ने बताया कि जनपद मथुरा में वर्तमान सरकार ने एक भी मुद्दा अब तक पूरा नहीं किया है और उम्मीद है कि ये करेंगे भी नहीं. अगर मथुरा की छाता विधानसभा की बात की जाए तो छाता में वह पूरे रीजन की एकमात्र शुगर मिल है. उन्होंने कहा मैं केवल मथुरा जनपद की बात नहीं कर रहा हूं, मैं पूरे रीजन की बात कर रहा हूं. उन्होंने कहा गोरखपुर, बहराइच की शुगर मिल छाता की शुगर मिल के साथ बंद हुई थी. सब शुगर मिल तो चालू करा दी गईं लेकिन छाता वाली शुरु नहीं कराई गई. पूर्व मंत्री ने कहा इसके लिए सबसे ज्यादा तो मैं वहां के प्रतिनिधि की गलती मानता हूं. वहां से जो विधायक हैं जो वर्तमान में कैबिनेट मंत्री हैं वह सीएम को दो बार मथुरा लेकर आए, उनकी कई बार बैठक भी कराई, लेकिन एक बार भी यह घोषणा नहीं की कि छाता शुगर मिल को शुरू कराया जाएगा या नहीं. उन्होंने कहा कि शूगर मिल बंद होने की वजह से गन्ना किसानों की हालत खराब है, किसान वर्तमान में त्राहि-त्राहि कर रहे हैं.