महोबा: प्रवासी मजदूरों की अलग-अलग सड़क हादसों में मौत होने की घटनाओं के बाद मुख्य सचिव ने आदेश जारी किया है. इस आदेश में पैदल, दो पहिया और ट्रकों से अपने गृह जनपद जा रहे प्रवासी मजदूरों को बॉर्डर पर ही रोकने को कहा गया है. उनकी जांच के बाद उनके गन्तव्य स्थान तक पहुंचाने की व्यवस्था करने को जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं.
मुख्य सचिव के आदेश के बाद महोबा जिला प्रशासन अलर्ट हो गया है. यूपी-एमपी बॉर्डर पर एमपी से यूपी की सीमा में प्रवेश करते ही प्रवासी मजदूरों को रोककर जांच के बाद बसों से उन्हें उनके गन्तव्य स्थान पर भेजा रहा है. महोबा जिले में यूपी-एमपी के कैमाहा बॉर्डर से हजारों प्रवासी मजदूर यूपी में प्रवेश कर रहे हैं. कोई पैदल तो कोई लोडर और कोई ट्रक आदि से अपने घर पहुंचने का प्रयास कर रहा है.
खाना खिलाकर गंतव्य तक भेजे जा रहे मजदूर
औरैया हादसे के बाद महोबा जिले में कैमाहा बॉर्डर पर जिला प्रशासन ने महानगरों से आ रहे प्रवासी मजदूरों को भेजने की व्यवस्था की. मजदूरों को रोककर उनकी जांच कराकर खाने की व्यवस्था और मजदूरों की लिस्ट बनाकर उनको गंतव्य स्थान पर छोड़ने के लिए बसों की व्यवस्था की गई. जो प्रवासी मजदूर लोडर या अपने साधन से आ रहे हैं, उनको खाना खिलाकर जाने दिया जाता है.
मजदूरों ने प्रशासन की तारीफ की
लोडर में अपने 13 साथियों के साथ सवार होकर सूरत से आ रहे प्रवासी मजदूर ने बताया कि वह 15 तारीख को सूरत से निकले थे, जिन्हें वहां की पुलिस ने बहुत परेशान किया था, जबकि एमपी और यूपी सरकार की तारीफ करते हुए उन्होंने बताया कि हम लोगों को यहां पर खाना खिलाया गया है और यहां पर बहुत अच्छी व्यवस्था की गई है.
रविवार को 1634 लोगों को भेजा गया
वहीं एसडीएम राकेश कुमार ने बताया कि बॉर्डर पर जो भी प्रवासी मजदूर आ रहे हैं, उनकी पहले जांच की जा रही है. उसके बाद खाना खिलाया जा रहा है और उनके गंतव्य स्थान पर छोड़ने के लिए बसों की व्यवस्था की गई है. मजदूरों की लिस्ट बनाकर बसों में बैठाकर भेजा जा रहा है. रविवार को 98 वाहनों से 1634 लोगों को भेजा जा चुका है.