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योगी सरकार के चुनावी बजट पर सबकी निगाहें, इन क्षेत्रों पर होगा फोकस

यूपी विधान मंडल के बजट सत्र में योगी सरकार वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए बजट पेश करेगी. यह योगी सरकार का पांचवां और इस कार्यकाल का आखिरी बजट होगा. 2022 विधानसभा चुनाव के मद्देनजर यह चुनावी बजट भी होगा. इस बजट के जरिये सरकार अपने चुनावी समीकरण साधने की कोशिश करेगी. कहा जा रहा है कि विधानसभा चुनाव को देखते हुए सरकार इस बार पिछले वित्तीय वर्ष से बड़ा बजट पेश कर सकती है.

18 फरवरी से शुरू हो रहा यूपी विधान मंडल का बजट सत्र.
18 फरवरी से शुरू हो रहा यूपी विधान मंडल का बजट सत्र.

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Published : Feb 2, 2021, 6:27 PM IST

Updated : Feb 22, 2021, 6:43 AM IST

लखनऊ: केंद्र सरकार द्वारा लाए गए आम बजट के बाद अब सबकी निगाहें योगी आदित्यनाथ सरकार द्वारा लाए जाने वाले चुनावी बजट पर हैं. 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले योगी आदित्यनाथ सरकार अपना पांचवां और अंतिम बजट 18 फरवरी से शुरू हो रहे बजट सत्र के दौरान पेश करेगी.

18 फरवरी से शुरू हो रहा यूपी विधान मंडल का बजट सत्र.

इस चुनावी बजट में राज्य सरकार विधानसभा चुनाव में जीत को लेकर तमाम नए तरह के प्रावधान करते हुए जनता को लुभाने वाली घोषणाएं कर सकती है. कोरोना के संकट काल के बाद सरकार का सबसे अधिक फोकस स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर करने पर होगा. योगी सरकार ने वित्तीय वर्ष 2020-21 के लिए 5 लाख 12 हजार 860 करोड़ रुपये का बजट पेश किया था. अब अगला बजट इससे बड़ा यानी करीब छह लाख करोड़ के आसपास होने का अनुमान है.

सबके लिए होगा खास, राजस्व बढ़ाने पर भी फोकस
इसके अलावा महिलाओं को स्वावलंबी बनाने, युवाओं को रोजगार देने, चिकित्सा, शिक्षा, सड़क, बिजली और पानी सहित तमाम अन्य सुविधाओं पर नजर बनाते हुए हुए बजट तैयार किया जाएगा. इसके साथ ही राज्य सरकार सभी विभागों से राजस्व प्राप्ति का लक्ष्य बढ़ाकर अपने खजाने को मजबूत बनाएगी. इस बजट में भी राजस्व वसूली पर सरकार ज्यादा फोकस करेगी.

आखिरी बजट होगा खास, जुटाया जा रहा अनुमान
योगी आदित्यनाथ सरकार का यह पांचवां और आखिरी बजट होगा. वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए बजट लाए जाने की तैयारियां विभागों के स्तर पर और वित्त विभाग के स्तर पर तेजी से हो रही हैं. सीएम के स्तर पर इस बजट को पेपरलेस करने पर चर्चा हुई है. विभागवार वित्तीय वर्ष 2020-21 में प्रावधानित मदों में कितनी धनराशि खर्च हुई है? उसका भी ब्यौरा जुटाया जा रहा है, जिससे अगले साल के बजट में व्यवस्थित तरीके से धनराशि का प्रावधान करते हुए बजट लाया जाए और समग्रता के साथ उत्तर प्रदेश का विकास हो सके.

विभागों में कटौती पर अभी फैसला नहीं
इस नए बजट में किन विभागों के बजट प्रावधानों में कटौती की जाएगी, इस पर अभी सहमति नहीं बन पाई है. इस पर उच्च स्तरीय बैठक में फैसला किये जाने की तैयारी है. देखने वाली बात यह होगी कि राज्य सरकार किन प्रमुख क्षेत्रों में कटौती करती है, लेकिन यह जरूर है कि राज्य सरकार का यह पांचवां और आखिरी बजट पिछले बजट की तुलना में आकार में काफी बड़ा होगा और पूरी तरह से चुनाव पर केंद्रित होगा.

विधानसभा चुनाव पर होगा फोकस, पिछले बजट से बड़ा होगा आकार
वित्त विभाग के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार राज्य सरकार 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले अपने इस बजट का आकार अब तक योगी सरकार द्वारा पेश किए गए बजट के आकार से बड़ा करेगी. इस बजट को पूरी तरह से विधानसभा चुनाव पर केंद्रित रखते हुए लाया जाएगा, जिससे आगामी चुनाव में फायदा मिल सके. विधानसभा चुनाव पर फोकस करते हुए तमाम तरह की लोक लुभावनी घोषणाओं को समेटे हुए यह बजट लाया जाएगा.

कोरोना संकट से निपटने के करने होंगे इंतजाम
मुख्य रूप से जिस प्रकार से कोरोना वायरस का संकट है, ऐसे में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर करने को लेकर भी राज्य सरकार के इस वित्तीय वर्ष 2021-22 के बजट में तमाम तरह की घोषणाएं नजर आएंगी. वित्तीय प्रावधान किए जाएंगे कि स्वास्थ्य सेवाओं को किस तरह से बेहतर किया जाना है. अस्पतालों में ऑक्सीजन सिलेंडर या अन्य तरह के मेडिकल इक्विपमेंट्स, बेड की संख्या बढ़ाए जाने और अत्याधुनिक सुविधाओं से अस्पतालों को लैस किए जाने को लेकर सरकार का बड़ा फोकस स्वास्थ्य क्षेत्र को लेकर होगा.

युवाओं की नौकरी पर होगा फोकस
इसके अलावा सूत्रों की तरफ से जो जानकारी मिल रही है उसके अनुसार इस बजट में राज्य सरकार विधानसभा चुनाव को देखते हुए अधिक से अधिक संख्या में युवाओं को रोजगार देने के लिए तमाम नई तरह की योजनाएं भी शुरू कर सकती है. इसके अलावा युवाओं को नौकरी दिए जाने के लिए भी बजट में बड़े स्तर पर प्रावधान किए जा सकते हैं. हालांकि बजट में किन चीजों को लाया जाना है, उसको लेकर अंतिम रूप देने के लिए सभी विभागों से अनुमान मांगे गए हैं.

अर्थव्यवस्था सुधारने के लिए करने होंगे महत्वपूर्ण प्रावधान
यही नहीं कोरोना संकट काल के चलते इस समय अर्थव्यवस्था पूरी तरह से चरमराई हुई है. ऐसे में राज्य सरकार अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए बजट में तमाम नए तरह के प्रावधान कर सकती है. सरकार का मुख्य फोकस इस पर भी होगा कि राजस्व अधिक से अधिक कैसे आए. इसके साथ ही स्वास्थ्य, शिक्षा व अन्य तरह के इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने पर भी सरकार अपना पूरा ध्यान देगी. इसके अलावा सरकार को यह भी देखना होगा कि जनता पर अधिक टैक्स न लगाया जाए. इस पर भी सरकार बजट में प्रावधान करेगी.

क्या कहते हैं जानकार
पीएचडी चैंबर के को-चेयरमैन मनीष खेमका कहते हैं कि इस बजट को लेकर सबकी निगाहें हैं कि सरकार क्या कुछ करती है. 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले यह बजट आ रहा है. ऐसे में स्वाभाविक रूप से सरकार चुनाव से पहले अपने बजट को चुनावी बजट बनाने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ेगी. इसके अलावा सरकार का पूरा जोर स्वास्थ सेवाओं को बेहतर करने पर होगा.

पीएचडी चैंबर के को-चेयरमैन मनीष खेमका कहते हैं कि जनता से जुड़े सभी योजनाओं को और कैसे बेहतर किया जा सकता है, सरकार इस पर भी ध्यान देगी. घाटे को कैसे कम करना है, इस पर भी सरकार ध्यान देगी और उसी के अनुरूप अपना बजट लाएगी. सरकार को यह भी देखना होगा कि जनता पर टैक्स का और अधिक बोझ न बढ़े और वित्तीय संतुलन बना रहे. इस पर भी सरकार का फोकस रहेगा.

Last Updated : Feb 22, 2021, 6:43 AM IST

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