लखनऊ:माध्यमिक शिक्षक संघ के अध्यक्ष व प्रवक्ता आर पी मिश्रा ने कहा कि लगातार सरकार पिछले 2 सालों से शिक्षा व्यवस्था को सुधारने का प्रयास कर रही है, लेकिन शिक्षकों की भारी संख्या में कमी के कारण स्कूलों में गुणवत्ता परक शिक्षा दे पाने में सरकार नाकाम नजर आ रही है. उन्होनें कहा कि इसके चलते जो विद्यार्थी पढ़ने के लिए स्कूल आते हैं उन्हें काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है.
सरकार अभी तक शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया को शुरू नहीं कर पाई है. सरकार ने प्राथमिक, माध्यमिक और उच्च शिक्षा व्यवस्था में शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया के लिए नए बोर्ड के गठन का प्रस्ताव भी दिया है. अगर ऐसा होता है तो शिक्षक भर्ती प्रक्रिया के प्रारंभ होने में करीब 1 साल से ज्यादा का समय लग जाएगा.
शिक्षकों की कमी के कारण गुणवत्ता परक शिक्षा की कमी. माध्यमिक शिक्षक संघ के अध्यक्षने कही ये बातें
- आज भी प्राथमिक विद्यालयों में करीब एक लाख शिक्षकों की कमी है.
- माध्यमिक विद्यालयों में करीब 40 हजार शिक्षकों की कमी है.
- उन्होनें कहा कि कहीं गणित का शिक्षक कला पढ़ा रहा है, तो कहीं कला का शिक्षक अंग्रेजी.
- शिक्षकों की कमी से गुणवत्ता परक शिक्षा देने में सरकार नाकाम है.
राज्य सरकार पिछले 2 सालों से शिक्षा व्यवस्था को सुधारने में नाकाम रही है. प्रदेश में शिक्षकों की भारी संख्या में कमी है. शिक्षकों के कम होने से स्कूलों में गुणवत्ता परक शिक्षा दे पाने में सरकार नाकाम नजर आ रही है. इस तरीके से जो विद्यार्थी पढ़ने के लिए स्कूल आते हैं, उनको काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है, और गुणवत्ता परक शिक्षा नहीं मिल पा रही है.
आरपी मिश्रा, अध्यक्ष, माध्यमिक शिक्षक संघ उत्तर प्रदेश