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सड़क सुरक्षा पखवाड़ा : तीन बार चालान कराने वाले वाहन मालिकों को गलती पड़ेगी भारी, जानिए क्या है तैयारी

राजधानी लखनऊ में परिवहन विभाग सड़क सुरक्षा पखवाड़ा (Transport Department special campaign) के तहत 15 से 31 दिसंबर तक विशेष अभियान चलाएगा. चेकिंग अभियान के दौरान अगर कोई भी वाहन चालक नियम तोड़ता मिला तो उस पर सख्त कार्रवाई होगी.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Dec 14, 2023, 9:23 PM IST

लखनऊ : यातायात नियमों को तोड़ने पर अगर किसी वाहन मालिक का तीन बार चालान (Road Safety Fortnight) हो चुका है तो ऐसे लोगों को सड़क सुरक्षा पखवाड़ा के दौरान विशेष तौर पर सतर्क रहना होगा. एक और गलती ज्यादा भारी पड़ेगी. ये वाहन मालिक का ड्राइविंग लाइसेंस और गाड़ी की आरसी निरस्त करने वाली गलती साबित हो सकती है.


परिवहन विभाग सड़क सुरक्षा पखवाड़ा



15 से 31 दिसंबर तक चलाया जाएगा विशेष अभियान : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर परिवहन विभाग सड़क सुरक्षा पखवाड़ा के तहत 15 से 31 दिसंबर तक विशेष अभियान चलाएगा. लखनऊ के एआरटीओ (प्रशासन) अखिलेश द्विवेदी का कहना है कि 'शासन के निर्देश पर नियम तोड़ने के अभ्यस्त हो चुके वाहन चालकों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी. चेकिंग अभियान के दौरान अगर कोई भी वाहन चालक नियम तोड़ता मिला तो उस पर सख्त कार्रवाई होगी. अगर उसके खिलाफ पहले ही तीन चालान हो चुके हैं तो उसकी आरसी या डीएल को निरस्त किए जाने की संस्तुति की जाएगी.'

चलेगा सघन चेकिंग अभियान :लखनऊ समेत उत्तर प्रदेश में शुक्रवार से सड़क सुरक्षा पखवाड़ा शुरू होगा. 1090 चौराहा से परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह इसकी शुरूआत करेंगे. इसके बाद परिवहन विभाग अन्य विभागों की मदद से सघन चेकिंग अभियान चलाएगा. इसमें हाल में ही परिवहन विभाग को मिलीं 38 इंटरसेप्टर वाहनों का भी इस्तेमाल किया जाएगा. परिवहन विभाग के अलावा परिवहन निगम, पुलिस विभाग, पीडब्ल्यूडी और अन्य विभागों के अधिकारी भी शामिल रहेंगे.



परिवहन निगम चलाएगा अभियान :उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रबंध निदेशक मासूम अली सरवर ने बताया कि 'सड़क सुरक्षा पखवाड़ा में परिवहन निगम की तरफ से ब्रेथ एनालाइजर डिवाइस के माध्यम से डिपो, कार्यशाला और मार्ग पर औचक जांच की जाएगी. सभी बसों की 31 बिंदुओं और 17 बिंदुओं की तकनीकी जांच कर ही बसों को आउटशेड किया जाएगा. निगम और अनुबंधित बसों की हेडलाइट, बैकलाइट, इंडिकेटर, रियर व्यू मिरर, और सीट बेल्ट की चेकिंग होगी.

स्पीड कंट्रोल डिवाइस की होगी जांच : उन्होंने बताया कि 'बसों की स्पीड कंट्रोल डिवाइस की जांच होगी. चालकों के ड्राइविंग लाइसेंस की जांच की जाएगी. वर्दी भी चेक की जाएगी. निगम और अनुबंधित बसों में रिफ्लेक्टिव टेप लगाया जाएगा. चालकों को रात में बस संचालन के दौरान हेडलाइट के हाईबीम और लोबीम के भी प्रयोग के बारे में जानकारी दी जाएगी. चालक-परिचालकों को नशा न करने के लिए प्रेरित किया जाएगा. क्षेत्रीय प्रबंधक और सेवा प्रबंधक भी कम से कम तीन-तीन डिपो के कार्यक्रम सुचारू रूप से संचालित कराएंगे. रैश ड्राइविंग पर नियंत्रण के लिए मार्ग पर बसों का औचक निरीक्षण और चालकों की काउंसलिंग की जाएगी. चालकों का स्वास्थ्य परीक्षण किया जाएगा.'

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