लखनऊ: यूपी में मच्छरों का हमला नहीं थम रहा है. यहां रोज सैकड़ों मरीज डेंगू की चपेट में आ रहे हैं. सोमवार को राज्य में कुल 218 नए केस पाए गए. ऐसे में कुल मरीजों की संख्या 20 हजार के पार हो गई है. वहीं बुखार का प्रकोप चरम पर है.राज्य में कई जिलों में डेंगू का प्रकोप छाया है. मथुरा, फिरोजाबाद समेत अब लखनऊ में डेंगू की बीमारी बढ़ रही है. पिछले 24 घंटे में 31 नए मरीज पाए गए. अब तक लखनऊ में 800 केस हो गए हैं. वहीं 24 घरों में लार्वा मिलने पर नोटिस जारी की गई.
हल्के में न लें बुखार को, 90 फीसद में डेंगू स्ट्रेन-टू
केजीएमयू की आईसीएमआर की लैब प्रभारी डॉ सुरुचि शुक्ला के मुताबिक किसी भी बुखार को हल्के में न लें. चाहे वह मलेरिया हो, डेंगू हो या कोविड. इस समय कोविड व डेंगू दोनों का खतरा है. यह दोनों घातक भी हो सकते हैं. कोविड में जहां 90 फीसद में डेल्टा वायरस मिल रहा है, वहीं डेंगू के 90 फीसद मरीज में स्ट्रेन-टू मिल रहा है. यह घातक है.
डेंगू के प्रकार
टाइप- 1- सामान्य डेंगू- इसमें तेज बुखार के साथ शरीर, जोड़ों और सिर में दर्द होता है. दवाएं लेने से 5 से 7 दिन में ठीक हो जाता है.
टाइप- 2- डेंगू हैमेरेजिक फीवर -इसमें मरीज के शरीर में प्लेटलेट्स तेजी से कम होते हैं. ब्लीडिंग शुरू हो जाती है. खून शरीर के विभिन्न हिस्से में जमा होने लगता है. यह फेफड़ों, पेट, किडनी या दिमाग में भी पहुंच सकता है. वहीं शरीर पर चकते पड़ जाते हैं. जिनसे खून रिसता रहता है. यह बुखार जानलेवा हो जाता है.
टाइप - 3 - डेंगू शॉक सिंड्रोम - इसमें मरीज को बुखार के साथ अचानक ब्लड प्रेशर कम हो जाता है. इंटरनल ब्लीडिंग का खतरा ज्यादा होता है. वह शॉक में चला जाता है. मल्टी ऑर्गन फेल्योर हो जाते हैं. जिससे मरीज की मृत्यु हो जाती है. इस बुखार में मरीज को काफी कमजोरी भी आती है.
डेंगू के लक्षण
तेज बुखार, सिर, मांसपेशियों, जोड़ों में दर्द, आंखों के पिछले हिस्से में दर्द, कमजोरी लगना, भूख न लगना व मरीज का जी मिचलाना, चेहरा, गर्दन, चेस्ट, पर लाल-गुलाबी रंग के रैशेज पड़ना है. वहीं डेंगू हेमरेजिक में नाक, मुंह, मसूड़े व मल मार्ग से खून आना है. साथ ही डेंगू शॉक सिंड्रोम में ब्लडप्रेश लो होना, बेहोशी होना, शरीर में प्लेटलेट्स लगातार कम होने लगना है.