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प्राइमरी के अध्यापक अब बोलेंगे अंग्रेजी, सिलेबस भी होगा अपडेट - आंग्लभाषा शिक्षण संस्थान

उत्तर प्रदेश के प्राइमरी स्कूलों में पढ़ाने वाले अध्यापक अब अंग्रेजी में बोलते नजर आएंगे. प्रदेश सरकार की ओर से इन्हें प्रशिक्षण देने की व्यवस्था शुरू की जा रही है. बेसिक शिक्षा मंत्री डॉ. सतीश द्विवेदी ने बुधवार को राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद लखनऊ के सभागार में आयोजित बैठक में इस संबंध में निर्देश जारी किए.

बेसिक शिक्षा मंत्री डॉ. सतीश द्विवेदी
बेसिक शिक्षा मंत्री डॉ. सतीश द्विवेदी

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Published : Feb 18, 2021, 9:25 AM IST

लखनऊः सरकारी प्राइमरी और मिडिल स्कूलों में पढ़ाने वाले अध्यापक अब अंग्रेजी में बोलते नजर आएंगे. प्रदेश सरकार की ओर से इन्हें प्रशिक्षण देने की व्यवस्था शुरू की जा रही है. बेसिक शिक्षा मंत्री डॉ सतीश द्विवेदी ने बुधवार को राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद लखनऊ के सभागार में आयोजित बैठक में इस संबंध में निर्देश जारी किए. उन्होंने आंग्लभाषा शिक्षण संस्थान प्रयागराज द्वारा अंग्रेजी माध्यम के शिक्षकों के लिए आयोजित प्रशिक्षण कार्यक्रम विद्यालय के कार्यरत अन्य शिक्षकों को भी कराए जाने के निर्देश दिए.

इसके साथ ही आंग्लभाषा शिक्षण संस्थान द्वारा पूर्व में आयोजित अंग्रेजी डिप्लोमा कोर्स को पुनः प्रारम्भ करने का मंत्री ने निर्देश दिया है. उन्होंने कहा कि 1 से 8 की पाठ्यपुस्तक की विषयवार टीम बनाकर समीक्षा और पुनरीक्षण करा लिया जाए.

पुनरीक्षण में इन बिन्दुओं को ध्यान में रखने की दी गई हिदायत

  • पाठ्यपुस्तकों की भाषा विषयवस्तु के अनुरूप हो, छात्रों के लिए सुगम हो और संस्कृति एवं परिवेश के अनुकूल हो.
  • समय के साथ विभिन्न विषयवस्तु परिवर्तित /अपग्रेड हो चुकी है. वर्तमान समय के बच्चों के बौद्धिक स्तर के अनुसार इसे संशोधित किया जाये.
  • वर्तमान परिप्रेक्ष्य में अप्रासंगिक जानकारी वाली बहुत पुरानी पाठ्य सामग्री हटाई जायें और नयी सामग्री को जोड़ा जाय. नई अवधारणाएं भी जोड़ी जायें. नई समसामयिक घटनाओं को भी पाठ्यपुस्तकों में जोड़ा जाये.
  • पाठ्यपुस्तकों के आवरण पृष्ठ विषय आधारित और अधिक आकर्षक बनायें.
  • राष्ट्रीय शिक्षा नीति के परिप्रेक्ष्य में भाषा शिक्षण, गणित एवं विज्ञान शिक्षण तथा अन्य सम्बन्धित विद्यालयी विषयों पर वेबिनार कराये जायें.
  • संस्थानों द्वारा अपनी स्थापना के 50 एवं 75 वर्ष पूरा होने पर समारोह आयोजित किया जाये.
  • शिक्षकों की पदोन्नति से पहले ओरिएंटेशन/रिफेशर कोर्स करने की व्यवस्था की जाये.

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