लखनऊ:उत्तर प्रदेश के माध्यमिक शिक्षा विभाग ने कोरोना संक्रमण के बीच ई-शिक्षा की ऐसी अनूठी पहल पेश की गई है. जिसमें एजुकेशन के क्षेत्र में क्लास पहले की तरह ही चलती रही. ऑनलाइन माध्यम के जरिए शिक्षक और छात्र एक-दूसरे से जुड़े रहे और बच्चों में ज्ञान का विस्तार हुआ है. संक्रमण काल में यह व्यवस्था देश के लिए मॉडल बन गई है. यह बातें उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने कहीं.
कोविड-19 से नहीं डरे छात्र-शिक्षक: दिनेश शर्मा - online education system in deputy cm
उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने बताया कि महामारी के दौरान जहां पूरा देश बंद था तो वहीं पढ़ाई के क्षेत्र में शिक्षक-बच्चे ऑनलाइन के जरिए एक दूसरे से जुड़े हुए थे. उन्होंने बताया कि ज्ञान के विकास का कोई असर नहीं पड़ा है.
शिक्षा व्यवस्था को नया स्वरूप दिया गया
डिप्टी सीएम दिनेश शर्मा ने कहा कि महामारी के दौरान जहां पूरा देश बंद था तो वहीं पढ़ाई के क्षेत्र में शिक्षक बच्चे ऑनलाइन के जरिए एक दूसरे से जुड़े हुए थे. उन्होंने बताया कि ज्ञान के विकास का कोई असर नहीं पड़ा है. लॉकडाउन में शिक्षण व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने के लिए ई-ज्ञान गंगा कार्यक्रम एवं वर्चुअल स्कूल आरंभ किए गए. 20 अप्रैल 2012 से वर्चुअल क्लास संचालित की गई. शिक्षकों एवं विद्यार्थियों के 29 लाख से भी ज्यादा ग्रुप बनाकर 67. 73 लाख विद्यार्थियों ने ज्ञान प्राप्त किया है.
ऑनलाइन क्लास के लिए शिक्षकों को किया गया प्रशिक्षित
डिप्टी सीएम ने कहा कि इसके साथ ही स्वयं प्रभा चैनल, ई-ज्ञान गंगा, दूरदर्शन उत्तर प्रदेश व चैनलों पर पाठ्यक्रम का शिक्षा से जुड़ा हुआ वीडियो में प्रसारित किया गया है. इसके लिए 1.48 शिक्षकों को ऑनलाइन प्रशिक्षित किया गया है अभी तक माध्यमिक शिक्षा विभाग द्वारा 1360 वीडियो बनाए जा चुके हैं.
जिज्ञासाओं के समाधान हेतु जारी किया टोल फ्री नंबर
उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ने बताया कि कोरोना संक्रमण काल में ज्ञान का विस्तार करने एवं जिज्ञासाओं के लिए विभाग की तरफ से टोल फ्री नंबर 18001805310 भी जारी किया गया है. उन्होंने बताया कि अब तक 193 ने इंटर कॉलेज का संचालन तथा 55 नए इंटर कॉलेज की स्वीकृति दी जा चुकी है. इसके साथ ही 30 बालिका छात्रावास का संचालन किया जा रहा है. चाहे तो ऑनलाइन केंद्रों का निर्धारण किया जा रहा है.