लखनऊ: फरार चल रहे डीआईजी अरविंद सेन पर 25 हजार रुपए का इनाम घोषित करने के बाद भी उनकी गिरफ्तारी नहीं हो सकी है. अब आईपीएस अधिकारी की गिरफ्तारी के लिए एसटीएफ और क्राइम ब्रांच की टीमों को अलग-अलग लगाया गया है. वहीं अरविंद सेन को भगोड़ा घोषित करने और उनकी संपत्ति को कुर्क करने के लिए कोर्ट में भी अर्जी दी जाएगी.
इंदौर के व्यापारी से ठगी का आरोप
निलंबित आईपीएस अधिकारी अरविंद सेन पर पशुपालन विभाग में टेंडर दिलाने के नाम पर इंदौर के व्यापारी से ठगी करने का आरोप है. आरोपों के मुताबिक व्यापारी मनजीत सिंह भाटिया से 9 करोड़ से ज्यादा की रकम ठगी की गई. लखनऊ पुलिस ने मंगलवार यानि कि 15 दिसंबर को 25000 रुपए का इनाम भी घोषित किया. उनके खिलाफ एनबीडब्ल्यू भी जारी है लेकिन अरविंद सेन अभी भी पुलिस की गिरफ्त से दूर हैं.
एसटीएफ और क्राइम ब्रांच की टीम तलाश में लगी
अब फरार आईपीएस अधिकारी अरविंद सेन की गिरफ्तारी के लिए एसटीएफ और क्राइम ब्रांच की टीमों को लगाया गया है. यह सभी टीमें लगातार दबिश दे रही हैं. एसटीएफ की दो टीमें अंबेडकरनगर और अयोध्या में पहुंच चुकी हैं. वहीं सर्विलांस से मिली जानकारी के आधार पर पुलिस 2 लोगों से पूछताछ कर रही है. एसटीएफ की टीम अरविंद सेन के संपर्क में रहने वालों का ब्यौरा जुटा रही है जिससे यह पता लगाया जा सके कि अरविंद सेन ने कहां-कहां शरण ली.
संदिग्ध नेता से भी पूछताछ की तैयारी
मिल रही जानकारी के मुताबिक अयोध्या में एक नेता के बारे में पता चला है जिसने अरविंद सेन को अपने यहां शरण दी थी. यह भी कहा जा रहा है कि उस नेता का निलंबित डीआईजी अरविंद सेन के साथ पुराना संबंध भी रहा है. एसटीएफ अब उस नेता से पूछताछ करने की तैयारी कर रही है.