लखनऊः पूरे प्रदेश में ठंड का कहर लगातार बढ़ रहा है. एक ओर शीतलहर की वजह से लोगों के कामकाज अस्त-व्यस्त हो रहे हैं. वहीं दूसरी और बेजुबान जानवर भी ठंड का सामना कर रहे हैं. गिरते तापमान के साथ ये ठंड बेजुबान जानवरों पर कहर बरपा रहा है. कड़ाके की इस ठंड में भले ही आम जनमानस ने ठंड से बचने के लिये तमाम उपाय किये हैं.
जानवरों को ठंड से बचाने के खास इंतजाम बढ़ते ठंड में अलाव के सहारे जानवर
राजधानी के जानकीपुरम में नगर निगम से संचालित लक्ष्मण गोशाला में मौजूद बेजुबान गोवंश भी देसी नुस्खे और अलाव के सहारे सर्दी को मात दे रहे हैं. इस गोशाला में वर्तमान समय में 478 गाय, 66 सांड, 82 बछड़े और 81 बछिया मौजूद हैं. देसी गाय 75 फीसदी बाकी 25 फीसदी दूसरे नस्ल के पशु हैं. इनको ठंड से बचाने के लिए डॉक्टर आक्सी और कैलोनिक इंजेक्शन देते हैं. आक्सी ट्रेटा सर्दी से बचाता है. इसके साथ ही कैलोनिक कैल्शियम की पूर्ति करता है.
खान-पान में यहां पशुओं को पूरा आहार दिया जाता है. इसके साथ ही ठंड से बचाने के लिए यहां पशुओं को सरसों का तेल, गुड, सेंदा नमक और आग जलाकर अलाव की भी व्यवस्था की जाती है. अगर किसी भी पशु की थोड़ी भी तबियत ठीक नहीं लगती, तो उसे यहां के डॉक्टर फौरन उपचार करते हैं. लक्ष्मण गोशाला में साफ-सफाई को लेकर विशेष ध्यान रखा जाता है. जिससे कि गंदगी से पनपने वाली कोई भी बीमारी जानवरों तक न पहुंच सके. यहां पर तीनों टाइम सफाई कर्मचारी सफाई करते हैं. किसी भी तरह की गंदगी यहां पर नहीं होती है.
लक्ष्मण गोशाला के प्रबंधक गजेंद्र सिंह से मिली जानकारी के मुताबिक यहां पर करीब 75 फीसदी देसी गाय है, और 25 फीसदी दूसरी प्रजातियों की गायें हैं. देसी गायों को ठंड कम असर करती है. लेकिन दूसरे नस्ल की गायों को ठंड का असर जल्दी होता है. जिससे निपटने के लिये हमने देसी फार्मूले अपनाये हैं. एक ओर जहां पोषाहार में प्रचुर मात्रा में सर्दी से लड़ने की चीजें पड़ी हुई हैं. वहीं दूसरी ओर गुड, सेंधा नमक अलाव की व्यवस्था की गयी है. इसके साथ ही हर एक पशु को सर्दी से लड़ने के लिए सरसों का तेल दिया जा रहा है. डॉक्टर इन पशुओं को इंजेक्शन भी लगाते हैं. जिससे सर्दी का असर जानवरों तक न पहुंच सके.