लखनऊ: उत्तराखंड की पूर्व राज्यपाल बेबी रानी मौर्य का भाजपा में भविष्य क्या होगा इस मुद्दे पर शांति है. उत्तराखंड में बुधवार को नए राज्यपाल ने शपथ ली है. मगर बेबी रानी मौर्य क्या करेंगी भाजपा ने अब तक नहीं तय किया है. मगर अधिकांश सियासी पंडितों का मानना है कि बेबी रानी मौर्य को आगरा या आसपास की किसी सीट से चुनाव लड़ाया जा सकता है. जबकि यह भी कहा जा रहा है कि वे संगठन में अहम जिम्मेदारी पा सकती हैं. दोनों ही मुद्दों पर भाजपा का असली दांव पिछड़ों पर लगाया जाएगा.
बेबी रानी मौर्य को जब राज्यपाल पद से हटाया गया, तब बड़े-बड़े सियासी सवाल हवा में तैरने लगे थे. कोई उनको बड़ा पद जैसे उप मुख्यमंत्री दिए जाने की बात कह रहा था. कोई कह रहा था कि उनको एमएलसी बनाया जाएगा. इस बीच बुधवार को उत्तराखंड में नये राज्यपाल ने पद की शपथ भी ले ली. जिसके बाद में एक बार फिर से बेबी रानी के भविष्य पर बातें की जाने लगी हैं. बेबी रानी मौर्य को पिछड़ों के बीच और जगह बनाने के लिए संगठन और सरकार में लाए जाने की संभावना है.
आगरा की महापौर और महिला मोर्चा की नेता थीं बेबी रानी मौर्य
संघ में अच्छी पकड़ रखने वाली बेबी रानी मौर्य राज्यपाल बनने से पहले आगरा की महापौर थीं और उनकी आगरा के लोगों के बीच अच्छी पैठ थी. इसके अलावा भारतीय जनता महिला मोर्चा में भी वे लंबे समय तक अलग अलग पदों पर बनी रहीं.
पिछड़े वर्ग और महिलाओं के बीच पैठ बनाने के लिए चेहरा
भाजपा के जानकारों ने बताया कि सबसे बड़ी संभावना यही है कि पिछड़े वर्ग के मतदाताओं के बीच संदेश देने के लिए बेबी रानी मौर्य को विधायक पद पर लड़ाया जाएगा. सरकार बनने के हालात में उनको मंत्री पद भी दिया जा सकता है. इससे पहले संगठन में भी जगह दी जा सकती है. इसी वजह से मौर्य से राज्यपाल पद वापस लिया गया है और उनको बहुत जल्द ही भाजपा की सदस्यता दिलाई जाएगी.