उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

ETV Bharat / state

लिवर रोगियों को राहत : SGPGI में मुफ्त होगा लिवर ट्रांसप्लांट - लखनऊ खबर

एसजीपीजीआई (SGPGI Hospital) के निदेशक डॉ. आरके धीमान के मुताबिक कोरोना संक्रमण कम हो गया है. जिसके बाद एसजीपीजीआई (SGPGI Hospital) में लिवर ट्रांसप्लांट की ओपीडी (OPD) शुरू कर दी गई है. ऐसे में संस्थान में सितंबर से लिवर ट्रांसप्लांट शुरू करने का फैसला किया गया है.

लिवर ट्रांसप्लांट होगा मुफ्त
लिवर ट्रांसप्लांट होगा मुफ्त

By

Published : Jul 28, 2021, 2:20 PM IST

Updated : Jul 28, 2021, 5:05 PM IST

लखनऊ:एसजीपीजीआई (SGPGI Hospital) में लिवर ट्रांसप्लान्ट की ओपीडी (OPD) शुरू हो गयी है. इसमें लिवर फेल्योर मरीजों की स्क्रीनिंग डॉक्टर करने लगे हैं. डोनर की भी काउंसलिंग चल रही है. गंभीर बीमारी से पीड़ित इन मरीजों को बड़ी राहत मिलेगी. यहां पहले सात मरीजों का मुफ्त लिवर ट्रांसप्लान्ट किया जाएगा.


एसजीपीजीआई (SGPGI Hospital) के निदेशक डॉ. आरके धीमान के मुताबिक कोरोना संक्रमण कम हो गया है. ऐसे में संस्थान में सितंबर से लिवर ट्रांसप्लांट शुरू करने का फैसला किया गया है. इसके लिए डॉक्टरों ने 22 जुलाई से ओपीडी शुरू कर दी है. सोमवार से शुक्रवार तक लिवर फेल्योर के मरीजों को देखा जा रहा है. यहां मरीजों की स्क्रीनिंग की जारी है. ट्रांसप्लान्ट के लिए मरीज-डोनर की काउंसिलिंग की जा रही है. पांच मरीजों ने ट्रांसप्लान्ट पर सहमति जताई. इनकी जांचें व ऑर्गन डोनर संबंधी प्रक्रिया चल रही हैं. इस दौरान पहले सात मरीजों का लिवर ट्रांसप्लान्ट मुफ्त होगा. इसके लिए सरकार को पत्र भेजकर अनुमति मांगी गई है. लिवर ट्रांसप्लान्ट पर सरकारी संस्थान आईएलबीएस में करीब 18 से 20 लाख व निजी अस्पताल में 35 से 40 लाख रुपये का खर्चा आ रहा है. ऐसे में मरीजों को बड़ी राहत मिलेगी.


आईएलबीएस में मिली डॉक्टरों को ट्रेनिंग

लिवर ट्रांसप्लांट के लिए दिल्ली के आईएलबीएस इंस्टिट्यूट में डॉक्टरों की ट्रेनिंग मिली है. इसमें चार सर्जन, हेपेटोलॉजिस्टि, एक रेडियोलोजिस्ट, तीन एनेस्थेटिस्ट, एक पैथोलॉजिस्ट ट्रेनिंग पूरी करके वापस आ चुके हैं. मुफ्त ट्रांसप्लान्ट के बाद मरीजों का आगे चलकर सस्ती दर पर ट्रांप्लान्ट होगा. इसके अलावा लिवर की दूसरी बीमारी का भी इलाज करेंगे.

पीजीआई में बढ़ेंगे 550 बेड
एसजीपीजीआई के कैंपस में 550 बेडों वाला नया भवन बनकर तैयार हो रहा है. ऐसे में मरीजों को अब बेडों की समस्‍या से जूझना नहीं होगा. इसमें 220 बेड इमरजेंसी मेडिसिन विभाग के होंगे. इसके अलावा 165 बेड नेफ्रोलॉजी विभाग के होंगे. साथ ही 115 बेड डायलिसिस के होंगे. शेष बेड यूरोलॉजी विभाग के लिए होंगे. वर्तमान में पीजीआई में 1610 बेड हैं. बेड बढ़ने से मरीजों को काफी राहत मिलेगी.

Last Updated : Jul 28, 2021, 5:05 PM IST

ABOUT THE AUTHOR

...view details