लखनऊः प्रदेश की राजधानी में 19 दिसंबर को नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में हिंसक प्रदर्शन हुआ था. इस हिंसक प्रदर्शन में सरकारी संपत्तियों को काफी नुकसान हुआ था. कड़ी कार्रवाई करते हुए जिला प्रशासन ने करीब 200 उपद्रवियों की पहचान की है. पकड़े गए आरोपियों में करीब 20 आरोपी ट्रांस गोमती और बाकी के आरोपी पुराने लखनऊ के बताए जा रहे हैं.
हिंसक प्रदर्शन के खिलाफ प्रशासन सख्त प्रदेश के मुखिया योगी आदित्यनाथ ने सख्त रुख अपनाते हुए दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए थे. वहीं जिला प्रशासन ने पहले 150 लोगों की पहचान की थी. उसके बाद 50 और दोषियों की शिनाख्त की गई. इन आरोपियों से करीब साढ़े चार करोड़ रुपये के नुकसान की वसूली होनी है. जिला प्रशासन ने इसके लिए पहले एक सप्ताह की समय सीमा तय की थी.
उसके बाद इस समयावधि को बढ़ा दिया गया था. इस मामले पर जब ईटीवी भारत ने एडीएम ट्रांस गोमती विश्व भूषण मिश्र से बात की तो उन्होंने बताया कि तय समय पर नोटिस का जवाब न देने पर आरोपियों को दोषी मानकर उनकी संपत्ति कुर्क की जाएगी.
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विश्व भूषण मिश्र ने जानकारी दी कि 4 जनवरी को सुनवाई करते हुए यह फैसला लिया गया था कि सभी आरोपियों को रजिस्टर्ड डाक के जरिए नोटिस भेजा जाएगा. उसके बाद 17 को सुनवाई हुई. इसमें यह फैसला लिया गया कि गजट नोटिफिकेशन के द्वारा नोटिस भेजा जाएगा. एडीएम ट्रांस गोमती ने बताया कि 24 जनवरी को जिन लोगों के जवाब आ जायेंगे, उनका संज्ञान लिया जायेगा. वहीं जिनके जवाब नहीं आएंगे उनके खिलाफ जिला प्रशासन उचित कार्रवाई करेगा.