लखनऊ :भले ही लोकसभा चुनाव अगले साल हो लेकिन काउंटडाउन अभी से शुरू हो गया है. राजनीतिक दल मतदाताओं को रिझाने के लिए अभी से जुट गए हैं. बहुजन समाज पार्टी भी पीछे नहीं है. विधानसभा चुनाव में पार्टी का प्रदर्शन भले ही बदतर रहा हो, लेकिन पिछले लोकसभा चुनाव में पार्टी को 10 सीटों पर जीत हासिल हुई थी. अब एक बार फिर बसपा सुप्रीमो दलित-मुस्लिम कांबिनेशन के सहारे लोकसभा चुनाव में बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद लेकर मुस्लिमों को रिझाने में जुट गईं हैं. बसपा सुप्रीमो का मुस्लिम प्रेम एक बार फिर जागा है. उन्होंने उत्तराखंड सरकार की तरफ से मजारों के खिलाफ हो रहे एक्शन और योगी सरकार पर लव जिहाद को लेकर निशाना साधा है.
बसपा सुप्रीमो मायावती को दलितों और मुस्लिमों के कांबिनेशन से आगामी लोकसभा चुनाव में प्रत्याशियों के जीत की उम्मीद है, इसीलिए मुस्लिमों के पक्ष में बसपा मुखिया आवाज बुलंद करती हैं. मंगलवार को मायावती ने बयान जारी किया. इसमें उन्होंने भारतीय जनता पार्टी पर मुस्लिमों से ज्यादती करने का आरोप लगाया. मायावती ने कहा कि यूपी और उत्तराखंड में सालों से लोगों की आस्था की मजारों को यह कहकर हटाया जा रहा है कि यह सरकारी जमीनों पर बनी हैं. इससे बहुजन समाज पार्टी सहमत नहीं है और इसका विरोध करती है. जब यहां मजारें सरकारी जमीनों पर बन रहीं थीं तो उस समय सरकार क्या कर रही थी? इन्हें बनने से रोका क्यों नहीं था? वर्षों से मजारें बनी हुईं हैं और अब अचानक उनको तोड़ने का प्लान बना लिया गया जो सही नहीं है. इसमें राजनीति ज्यादा नजर आ रही है. अपने राजनीतिक स्वार्थ की खातिर किसी की भावना को ठेंस पहुंचाई जाए, यह बिल्कुल सही कदम नहीं है. मायावती ने कहा कि पिछले कुछ समय में देश में लव जिहाद और जबरन धर्म परिवर्तन कराने को भी लेकर देश में धार्मिक उन्माद पैदा किया जा रहा है. यह बिल्कुल सही नहीं है. देश की जनता को जरूर सावधान रहना चाहिए.