उत्तर प्रदेश

uttar pradesh

ETV Bharat / state

संघ पदाधिकारियों संग बैठक के बाद बोले मुस्लिम धर्म गुरु, कोर्ट के फैसले का होगा सम्मान

केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने मंगलवार को अपने आवास पर अयोध्या जमीन विवाद पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पहले मुस्लिम धर्म गुरुओं और आरएसएस पदाधिकारियों के साथ बैठक की. इस बैठक में मौजूद सभी नेताओं ने सर्वसम्मति दिखाते हुए सुप्रीम कोर्ट के फैसले का सम्मान करने की बात कही.

संघ की बैठक में बनी सर्वसम्मति.

By

Published : Nov 5, 2019, 9:09 PM IST

नई दिल्ली/दिल्ली:केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने मंगलवार को अपने आवास पर अयोध्या जमीन विवाद पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पहले मुस्लिम धर्म गुरुओं और राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के आरएसएस नेताओं के साथ बैठक की. इस बैठक में मौजूद सभी नेताओं ने सर्वसम्मति दिखाते हुए सुप्रीम कोर्ट के फैसले का सम्मान करने की बात कही. केंद्रीय मंत्री नकवी ने बताया कि बैठक में देश की एकता और अखंडता को मजबूत करने पर जोर दिया गया.

संघ की बैठक में बनी सर्वसम्मति.
नहीं होना चाहिए हाहाकारी हंगामाकेंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि बैठक में यह फैसला हुआ है कि अयोध्या को लेकर सुप्रीम कोर्ट का, जो भी फैसला हो उस पर समाज के किसी भी वर्ग को जीत का जुनूनी जश्न और हार का हाहाकारी हंगामा नहीं होना चाहिए और इससे हमें बचना होगा.यह फैसला देश को मजबूत करेगाबैठक के बाद भाजपा प्रवक्ता शाहनवाज हुसैन ने कहा कि सभी मुस्लिम धर्मगुरुओं ने इस संवाद कार्यक्रम में सहमति बनाई है कि सुप्रीम कोर्ट का जो भी फैसला होगा, वह एक स्वर में सभी को स्वीकार होगा. इस फैसले में किसी की हार या जीत नहीं होगी. उन्होंने कहा कि यह फैसला देश को और लोगों के आपसी सौहार्द को मजबूत करेगा.सबकी सहमति, सर्वसम्मतिबैठक में शामिल हुए इमाम एसोसिएशन के सदस्य मौलाना सादिक ने बात करते हुए कहा कि बैठक में शामिल हुए आरएसएस नेताओं ने भी सभी धर्मगुरु की बात पर सहमति जताई है और कहा है कि अयोध्या पर सुप्रीम कोर्ट का जो भी फैसला होगा वह उन्हें मान्य होगा.

सोशल मीडिया पर न करें आपत्तिजनक पोस्ट
दरगाह किछौछा शरीफ कमेटी के सदस्य बाबर अशरफ ने कहा कि इस बैठक में शामिल हुए सभी लोगों ने सुझाव दिया और कहा है कि अयोध्या पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लेकर सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक एवं भड़काऊ पोस्ट पर रोक लगाने की जरूरत है. सोशल मीडिया पर किसी भी समाज के व्यक्ति को आपत्तिजनक प्रतिक्रिया देने पर उसके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई होनी चाहिए और मुस्लिम बहुल इलाकों में पुलिस की गस्त होनी चाहिए, ताकि अल्पसंख्यक वर्ग खुद को सुरक्षित महसूस करें.

इसे भी पढ़ें:-पाक अधिकृत कश्मीर भी भारत गणराज्य का हिस्सा: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ

ABOUT THE AUTHOR

...view details